BIG BREAKING : आजाद बोले- उस दिन मैं भाजपा में प्रवेश करूंगा, बताया ये वक्त, कहा- वो नाटक नहीं…
Azad reply on entering BJP : कांग्रेस नेता को विदाई देते समय राज्यसभा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आंखों से भी छलक पड़े थे
नई दिल्ली/ए.। Azad reply on entering BJP : कांग्रेस केे वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद का हाल ही में राज्यसभा का कार्यकाल खत्म हो गया। आजाद को विदाई देते समय राज्यसभा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आंखों से भी छलक पड़े थे। इसके बाद बोलते हुए आजाद का आंसू निकल आए थे।
प्रधानमंत्री ने आजाद (Azad reply on entering bjp) को सैल्यूट करते हुए यह भी कहा था कि सत्ता आते रहती है। लेकिन इस१े कैसे पचाते हैं, ये कोई आजाद जी से सीखें। मोदी द्वारा आजाद की तरीफ में कसीदे पढऩे के बाद ये चर्चा भी शुरू हो गई थी कि क्या कही आजाद कांग्रेस छोड़ भाजपा में तो शामिल नहीं हो रहे। अब इसका जवाब खुद आजाद ने दिया है।
एक अंग्रेजी अखबार को दिए साक्षात्कार में आजााद ने भाजपा में ‘शामिलÓ होने का वक्त बताया है। आजाद से पूछा गया कि क्या वे भाजपा में प्रवेश करेंगे। इस पर उन्होंने जवाब दिया कि जिस दिन कश्मीर में काली बर्फ गिरेगी उस दिन मैं भाजपा प्रवेश करूंगा। भाजपा ही क्यों मैं उस दिन किसी भी दूसरे दल में प्रवेश करूंगा। उन्होंने यह भी कहा कि इस प्रकार केे आरोप करने वाले लोग मुझे नहीं जानते।
मोदी के साथ ही यादें भी साझा कीं :
आजाद ने कहा कि नरेंद्र मोदी व उनकी 1990 से पहचान है। तब हम दोनों अपने अपने दलों में महासचिव था और टीवी शो में एक दूसरे के खिलाफ वाद विवाद करते थे। हमने कार्यक्रम में खूब वाद विवाद किया। लेकिन यह भी सही है कि जिस दिन हम स्टूडियो में समय से पहले पहुंच जाते उस दिन साथ में चाय भी लेते थे। महासचिव के बाद हम एक दूसरे को मुख्यमंत्री के रूप में पहचानने लगे। हमने हर 10-15 दिन में एक दूसरे से चर्चा की है।
वो नाटक नहीं : आजाद
आजाद की विदाई में प्रधानमंत्री मोद के भावुक होने को लेकर कांग्रेस सांसद शशी थरूर ने चुटकी ली थी। इस पर आजाद ने अलग मत व्यक्त किया है। उन्होंने कहा कि इस प्रकार की टिप्पणी करने वाले लोग मोदी को नहीं जानते। एक कांग्रेस का नेता जा रहा है तो उन्हें तकलीफ उठाने की क्या जरूरत है। उन्होंने मेरे बारे में जो कहा वह उनकी भावना थी। वो राजनेता से इतर एक इंसान के रूप में व्यक्त की गई भावनाएं थीं। मुझे ऐसा नहीं लगता कि प्रधानमंत्री ने रोने का नाटक किया।