Corona Infected : स्वस्थ होने के तीन महीने बाद लगेगा बूस्टर डोज
स्वास्थ्य मंत्रालय ने जारी की गाइडलाइन
रायपुर/नवप्रदेश। Corona Infected : छत्तीसगढ़ में तीसरी लहर के दौरान पहली बार एक दिन में 15 मरीजों की मौत से हड़कंप के बीच बदलाव शुरू हो गया है। राज्य सरकार ने स्वास्थ्य विभाग का प्रमुख सचिव बदल दिया है।
डॉ. आलोक शुक्ला की जगह पर डॉ. मनिंदर कौर द्विवेदी अब स्वास्थ्य विभाग की जिम्मेदारी संभालेंगी। इस बीच कोरोना से हुई मौतों की पड़ताल शुरू हुई है। विभाग ने कोरोना से मरने वालों में किसी नए वैरिएंट की आशंका को देखते हुए जांच कराने का फैसला किया है।
कोरोना संक्रमित (Corona Infected) व्यक्तियों को उनके स्वस्थ होने के तीन महीने बाद कोरोना से बचाव का टीका लगाया जाएगा। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने नई गाइडलाइन जारी की है।
यह गाइडलाइन स्वास्थ्य कर्मियों, फ्रंटलाइन वर्कर्स और 60 वर्ष से अधिक के लोगों को लगाए जा रहे प्रिकॉशन डोज के साथ ही सभी आयु वर्ग के टीकाकरण के लिए प्रभावी होगा।
टीका नहीं लगवाना भी एक बड़ी वजह
कोरोना के घातक हो जाने में टीका नहीं लगवाना भी एक बड़ी वजह हो सकती है। तीसरी लहर के दौरान हुई मौतों के विश्लेषण से साफ हुआ है कि मरने वालों में से करीब 56% लोगों ने कोई टीका ही नहीं लगवाया था। 25% लोग दोनों डोज लगवा चुके थे, वहीं 18% ने केवल एक टीका लगवाया था। डॉक्टरों का कहना है, टीकाकरण की वजह से संक्रमण एकदम से 100% बचाव तो नहीं हुआ। लेकिन इससे मरने के चांस कम हो गए हैं।
घातकता जांचने भेजा जाएगा भुवनेश्वर
बताया जा रहा है, कोरोना से मरने वालों के नमूनों में से रैंडमली 5% को जीनोम सीक्वेसिंग (Corona Infected) के लिए भुवनेश्वर भेजा जाएगा। इसके जरिए यह जानने की कोशिश हो रही है कि कोई वैरिएंट कितना घातक है। सामान्य रूप से हो रही जांच में से 5% सैंपल जीनोम सिक्वेंसिंग के लिए पहले भी भेजे जा रहे हैं। अभी तक करीब सवा चार हजार नमूने भुवनेश्वर भेजे जा चुके हैं।