CG Vidhansabha: शिक्षकों के रिक्त पदों को लेकर कांग्रेस विधायक ने उठाया मामला, उच्च शिक्षा मंत्री बोले…

CG Vidhansabha: शिक्षकों के रिक्त पदों को लेकर कांग्रेस विधायक ने उठाया मामला, उच्च शिक्षा मंत्री बोले…

CG Vidhansabha, Congress MLA raised the matter regarding the vacant posts of teachers, the Higher Education Minister said,

cg vidhansabha

-cg vidhansabha: चिरमिरी शासकीय महाविद्यालय की प्राचार्य का मुद्दा सदन में उठा
-कांग्रेस विधायक विनय जायसवाल ने प्रश्रकाल में उठाया मामला
-जायसवाल, गुलाब कमरो, जकांछ के विधायक सहित भाजपा सदस्यों ने प्राचार्य पर कार्यवाही की मांग की

रायपुर। CG Vidhansabha: छत्तीसगढ़ के कोरिया जिले के चिरमिरी शासकीय महाविद्यालय में पदस्थ प्राचार्य का मुद्दा सदन में जोर-शोर से उठा। इस मामले में प्राचार्य को निलंबित कर उसके खिलाफ कार्यवाही किये जाने की मांग की गई।

उच्च शिक्षा मंत्री उमेश पटेल ने इस मामले में कहा कि प्राचार्य को पूर्व में निलंबित किया गया था लेकिन न्यायालय के आदेश के बाद उन्हें वापस उसी पद पर बहाल किया है, चूंकि प्राचार्य के खिलाफ कई शिकायतें विभाग को मिली है इसलिए इस मामले में दो सदस्यीय टीम गठित कर मामले की जांच करायी जा रही है।

प्रश्रकाल (CG Vidhansabha) में आज सत्ता पक्ष के कांग्रेस विधायक डा. विनय जायसवाल ने मनेन्द्र गढ़ विधानसभा अंतर्गत संचालित महाविद्यालयों में स्वीकृत एवं रिक्त पदों की जानकारी मंत्री से मांगी। इसके जवाब में उच्च शिक्षा मंत्री उमेश पटेल ने बताया कि उनके विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत 03 शासकीय महाविद्यालय संचालित है जिनमें कुल 124 पद स्वीकृत एवं 71 पद रिक्त है। इस पर डा. जायसवाल ने मंत्री से शेष रिक्त पदों को भी शीघ्र भरे जाने की मांग की। मंत्री ने कहा कि जल्द से जल्द भरे जाने का आश्वासन दिया।

कांग्रेस सदस्य डा. विनय जायसवाल ने पूरक प्रश्र करते हुए मंत्री का ध्यान आकर्षित कराया चिरमिरी शासकीय महाविद्यालय की प्राचार्य को 2012 में भ्रष्टाचार के आरोप में निलंबित किया गया था लेकिन पुन: उसी पद पर बहाल कर दिया गया है। उन्होंने मंत्री से पूछा कि निलंबन कार्यवाही के बाद पुन: उसी पद पर उन्हें कैसे बहाल कर दिया गया है। इस मामले की उन्होंने जांच की मांग की। 

उच्च शिक्षा मंत्री (CG Vidhansabha) ने स्वीकार किया कि 2012 में प्राचार्य को निलंबित किया गया था। उन्होंने बताया कि लेकिन निलंबन के बाद प्राचार्य न्यायालय चली गई और न्यायालय के आदेश के बाद उसे पुन: उसी पद पर बहाल किया गया है। मंत्री ने बताया कि जब पहली बार प्राचार्य न्यायालय गई तो उस पर विभाग द्वारा कार्यवाही नहीं करने का आदेश दिया और दूसरी बार उन्हें पुन: वर्तमान जगह पद पर बने रहने का आदेश जारी किया।

मंत्री ने बताया कि न्यायालय के आदेश से उन्हें वहां पदस्थ किया गया है। हालांकि मंत्री उमेश पटेल ने यह भी बताया कि चूंकि प्राचार्य के खिलाफ अन्य लोगों से भी कई शिकायतें मिली है इसलिए इस मामले की जांच के लिए दो सदस्यीय जांच कमेटी का गठन किया गया है जो मामले की जांच कर रही है।

जांच की रिपोर्ट आने पर निश्चित कार्यवाही की जायेगी। इस मामले में भाजपा सदस्य नारायण चंदेल, अजय चंद्राकर के अलावा जनता कांग्रेस छग के विधायक धर्मजीत सिंह और कांग्रेस विधायक गुलाब कमरो ने भी मंत्री से सवाल किये।

JOIN OUR WHATS APP GROUP

डाउनलोड करने के लिए यहाँ क्लिक करें

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *