BIG BREAKING: बहुचर्चित निठारी हत्याकांड के दोनों दोषियों की फांसी की सजा रद्द
-19 मई 2022 को CBI कोर्ट ने दोषियों को मौत की सजा सुनाई थी
इलाहाबाद। nithari case: राजधानी दिल्ली के पास नोएडा में हुए निठारी हत्याकांड मामले में एक बड़ी खबर सामने आई है। पायल हत्याकांड मामले में सुरेंद्र कोली और मोनिंदर सिंह पंधेर को दी गई मौत की सजा रद्द कर दी गई है। दोनों को नैतिक तस्करी अधिनियम के तहत दोषी पाया गया।
इस मामले में सिमरनजीत कौर को भ्रष्टाचार के मामले में सबूतों के अभाव में बरी कर दिया गया था। 19 मई 2022 को सीबीआई कोर्ट ने दोषियों को मौत की सजा सुनाई थी। अब इलाहाबाद हाई कोर्ट ने दोषी सुरेंद्र कोली और मोनिंदर सिंह पंढेर की मौत की सजा को रद्द कर दिया है।
आज इलाहाबाद कोर्ट में हुई सुनवाई में 12 मामलों में सुरेंद्र कोली और 2 मामलों में मोनिंदर सिंह पंढेर को दी गई मौत की सजा रद्द कर दी गई। हाईकोर्ट में दोनों आरोपियों की 14 अर्जियों पर सुनवाई हुई। पुख्ता सबूतों और गवाहों के अभाव में कोर्ट ने दोनों दोषियों को दी गई मौत की सजा रद्द कर दी।
इसके अलावा 2017 में गाजियाबाद की एक विशेष सीबीआई अदालत ने पिंकी सरकार हत्याकांड में सुरेंद्र कोली और पंढेर को मौत की सजा सुनाई थी। इससे पहले गाजियाबाद की एक विशेष अदालत ने निठारी हत्याकांड में कारोबारी मोनिंदर सिंह पंढेर और उसके नौकर सुरेंद्र कोली को दोषी ठहराया था।
न्यायाधीश पवन कुमार तिवारी ने सुरेंद्र कोली और मोनिंदर पंढेर को मौत की सजा सुनाई। यह मामला पिंकी सरकार की हत्या से जुड़ा है। इस मामले में पंढेर और कोली को अपहरण, बलात्कार और हत्या का दोषी पाया गया था।
कौन हैं सुरेंद्र कोली?
सुरेंद्र कोली उत्तराखंड का रहने वाला है और वह मोनिंदर सिंह पंढेर के घर पर काम करता था। 2004 में जब पंढेर का परिवार पंजाब चला गया, तो घर में केवल पंढेर और कोली ही रहते थे। इन दोनों को एक ही बंगले में की गई हत्या और बलात्कार के लिए मौत की सजा सुनाई गई।