प्रत्येक जिले में एक जवाहर नवोदय विद्यालय खोलने की परिकल्पना, लेकिन क्यों साकार नहीं….

प्रत्येक जिले में एक जवाहर नवोदय विद्यालय खोलने की परिकल्पना, लेकिन क्यों साकार नहीं….

The vision of opening one Jawahar Navodaya Vidyalaya in every district, but why not come true....

Jawahar Navodaya Vidyalaya

नई दिल्ली। केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय ने देश के प्रत्येक जिलें में एक जवाहर नवोदय विद्यालय (Navodaya Vidyalaya) खोलने की परिकल्पना की है। इसके तहत अभी तक 661 जवाहर नवोदय विद्यालय स्वीकृत किए जा चुके हैं। स्वीकृत किए गए इन जवाहर नवोदय विद्यालयों में से 580 विद्यालय अपने स्थाई परिसरों से कार्य कर रहे हैं। हालांकि 17 जवाहर नवोदय विद्यालय ऐसे भी हैं जिनका निर्माण शुरू ही नहीं हो सका है।

लोकसभा में शिक्षा मंत्री ने दी जानकारी

शिक्षा मंत्रालय के मुताबिक राज्य सरकारों से भूमि प्राप्त न होने के कारण 17 विद्यालयों का निर्माण नहीं हो पा रहा है। केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने सोमवार को यह जानकारी लोकसभा के समक्ष रखी। शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने एक लिखित जानकारी के माध्यम से बताया कि भूमि न मिलने के कारण दिल्ली में सात स्थानों पर जवाहर नवोदय विद्यालयों का निर्माण नहीं हो पा रहा है। दिल्ली में जिन स्थानों पर इन विद्यालयों का निर्माण होना था उनमें पूर्वी दिल्ली, पश्चिमी दिल्ली, उत्तरी दिल्ली, दक्षिण दिल्ली, उत्तर पूर्वी दिल्ली, शाहदरा और दक्षिण पूर्व दिल्ली शामिल हैं।

दिल्ली के अलावा अरुणाचल प्रदेश की राजधानी ईटानगर में भी भूमि न मिलने के कारण जवाहर नवोदय विद्यालय का काम शुरू नहीं हो सका है। इसी प्रकार असम में कामरूप मेट्रो में जमीन न मिलने के कारण स्कूल का काम शुरू नहीं हो सका है। बिहार के खगरिया और छत्तीसगढ़ के कोंडागांव में भी जमीन उपलब्ध न करवाए जाने के कारण जवाहर नवोदय विद्यालय का निर्माण नहीं हो पा रहा है।

कई राज्यों में नहीं मिल सकी भूमि

भूमि न मिलने के कारण पलामू, मालदा, कूचबिहार और दक्षिण 24 परगना में भी नवोदय जवाहर नवोदय विद्यालय का निर्माण नहीं हो सका है। जम्मू कश्मीर के श्रीनगर और कुलगाम में भी भूमि न मिलने के कारण जवाहर नवोदय विद्यालय (Navodaya Vidyalaya) का निर्माण रुका हुआ है।

केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि देश में अभी भी कई स्थानों पर जवाहर नवोदय विद्यालय निर्मित किए जा रहे हैं। अभी फिलहाल देश में कुल 64 जवाहर नवोदय विद्यालय का निर्माण कार्य प्रगति पर है।

शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि जवाहर नवोदय विद्यालय के लिए स्थाई भवनों का निर्माण एक स्तर प्रक्रिया है। राज्य सरकार को नवोदय विद्यालय समिति के पक्ष में आवश्यक उपयुक्त भूमि निशुल्क उपलब्ध करानी होती है। इसलिए यह यह प्रक्रिया संबंधित राज्य सरकार की सहमति पर निर्भर करती है।

जवाहर नवोदय विद्यालय (Navodaya Vidyalaya) खोलने के लिए संबंधित राज्य सरकार या जिला प्रशासन द्वारा विद्यालयों को तीन चार वर्ष तक चलाने के लिए या स्वयं के स्थाई भवनों के निर्माण तक पर्याप्त अस्थाई आवास के साथ 30 एकड़ भूमि निशुल्क और सभी बाधाओं से मुक्त उपलब्ध करानी होगी।

इसके लिए संबंधित राज्य के साथ नियमित रूप से मामला उठाया जा रहा है। पहले से चल रहे निर्माण कार्य में तेजी लाने के लिए निर्माण एजेंसियों के साथ निर्माण के कार्य की प्रगति की नियमित रूप से निगरानी भी की जा रही है।

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