राज्योत्सव पर विशेष लेख : छत्तीसगढ़ में पर्यटन विकास
ए.बी. काशी, सहायक संचालक
पर्यटन शब्द सुनते ही मन के झरोखों में सुन्दर प्राकृतिक दृश्य-पर्वत, पहाड़, नदी-नाले, सुरम्य वादियां, ऐतिहासिक, पुरातात्विक एवं धार्मिक स्थलों की तस्वीरें झलकती है। पर्यटन स्थलों पर भ्रमण करने से मन को सुकुन और शांति तो मिलती ही है इसके साथ ही प्रकृति की अद्भूत एवं अप्रतिम छटा भी देखने को मिलती है। यूूं तो समूचे विश्व में पर्यटन के खजाने हैं। लोग अपनी रूचि और सामथ्र्य के अनुसार पर्यटन का आनंद लेते हैं।
पर्यटन की दृष्टि से छत्तीसगढ़ अत्यंत समृद्ध राज्य है। छत्तीसगढ़ की धरती वन और खनिज संपदा से भरपूर तो है ही इसके साथ ही यहां की कला, संस्कृति और पर्यटन स्थल भी आकर्षण के केन्द्र है। छत्तीसगढ़ के पर्यटन मंत्री श्री ताम्रध्वज साहू के कुशल नेतृत्व में छत्तीसगढ़ पर्यटन मण्डल द्वारा प्रदेश में पर्यटन विकास एवं पर्यटकों की गतिविधियों के लिए राष्ट्रीय तथा अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं।
छत्तीसगढ़ में लगभग 138 स्थल पर्यटन स्थल के रूप में रूप में चिन्हित है। पर्यटन के बहुआयामी क्षेत्र में विशेषकर जनजातीय अंचलों में स्थित चुनिंदा पर्यटन स्थलों में खान-पान एवं आवास की बेहतरीन सुविधायुक्त होटल, मोटल, रिसॉर्ट एवं रेस्टोरेंट का निर्माण कर पर्यटकों को सुविधाएं दी जा रही है। भारत के हृदय स्थल में स्थित छत्तीसगढ़ राज्य के उत्तर में सतपुड़ा पहाडिय़ों का उच्चतम भूभाग है तो मध्य में महानदी तथा उसकी सहायक नदियों का मैदानी भाग है।
इसके दक्षिण में बस्तर का विस्तृत पठार है। छत्तीसगढ़ प्राचीन स्मारकों, दुर्लभ वन्य प्राणियों, नक्काशीदार मंदिरों, बौद्ध स्थलों, राजमहलों, जलप्रपातों, गुफाओं एवं शैलचित्रों से परिपूर्ण है। यहां ऐतिहासिक, पुरातात्विक, धार्मिक एवं प्राकृतिक पर्यटन स्थल है। यहां राष्ट्रीय उद्यान एवं वन्य प्राणी अभ्यारण्यों के साथ-साथ गौरवशाली लोक संस्कृति का अद्वितीय उदाहरण भी है।
बस्तर क्षेत्र में कुटुमसर गुफा एवं कांगेर घाटी, राष्ट्रीय उद्यान, चित्रकोट जलप्रपात महत्वपूर्ण पर्यटन स्थल है। इसके साथ ही छत्तीसगढ़ पर्यटन मण्डल द्वारा गंगरेल जलाशय धमतरी में पर्यटकों के लिए विश्व स्तरीय साहसिक क्रीड़ा की व्यवस्था की गई है। कबीरधाम जिले में बैगा टूरिस्ट रिसॉर्ट, सरोधा दादर में ट्रायवल टूरिज्म के अन्तर्गत ओपन एयर थियेटर की व्यवस्था है। छत्तीसगढ़ पर्यटन मण्डल द्वारा पर्यटकों की सुविधा के लिए अनेक पर्यटन इकाईयां संचालित की गई है।
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इनमें राजधानी रायपुर में होटल जोहार छत्तीसगढ़, धमतरी जिले में बरदिहा लेक व्यू टूरिस्ट कॉटेज गंगरेल, बस्तर जिले में दंडामी लक्जरी रिसॉर्ट चित्रकोट और गोरगा टूरिस्ट रिसॉर्ट तीरथगढ़, महासमुंद जिले में हरेली ईको रिसॉर्ट मोहदा बारनवापारा और व्हेनसांग टूरिस्ट रिर्सार्ट सिरपुर, मुंगेली जिले में सोनभद्र टूरिस्ट रिसॉर्ट आमाडोब।
बिलासपुर जिले में छेर-छेरा टूरिस्ट कॉटेज कबीर चबुतरा और गौरा-गौरी लेक व्यू टूरिस्ट कॉटेज खूंटाघाट, सरगुजा जिले में शैला टूरिस्ट रिसॉर्ट मैनपाट, बालोद जिले में सुआ लेक व्यू टूरिस्ट रिसॉर्ट तान्दुला, कबीरधाम जिले में नागमोरी टूरिस्ट कॉटेज भोरमदेव और बैगा टूरिस्ट रिसॉर्ट सरोधादादर तथा रायपुर जिले में पर्यटक विश्रामगृह चम्पारण्य शामिल है।
छत्तीसगढ़ के पर्यटन स्थलों के बारे में पर्यटकों को सुलभ जानकारी उपलब्घ कराने तथा पर्यटन स्थलों के भ्रमण के लिए व्यक्तिगत एवं टूर पैकेज के अन्तर्गत आरक्षण की सुविधा प्रदान करने के लिए छत्तीसगढ़ पर्यटन मण्डल द्वारा नई दिल्ली सहित प्रदेश में तेरह स्थानों पर पर्यटन सूचना केन्द्र स्थापित किया गया है।
पर्यटन मण्डल द्वारा स्वामी विवेकानंद एयरपोर्ट माना रायपुर, टिकट काउंटर के पास रेल्वे स्टेशन रायपुर, महंत घासीदास संग्रहालय परिसर रायपुर, रेल्वे स्टेशन बिलासपुर ग्राम सिरपुर जिला महासमुन्द, रेल्वे स्टेशन डोंगरगढ़, अनारक्षित टिकट काउंटर के सामने रेल्वे स्टेशन दुर्ग, धनवंतरी भवन सिहावा रोड़ जिला धमतरी, शहीद पार्क चौपाटी परिसर जगदलपुर, सरहुल होटल चंडीरमा अंबिकापुर, बस स्टैण्ड चंपारण्य, कोडातरई रायगढ़ और चाणक्य भवन नई दिल्ली में पर्यटन सूचना केन्द्र स्थापित की गई है।
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