Pakistani Terrorists : टेरर फंडिंग का छत्तीसगढ़ कनेक्शन...9 वर्षों से फरार आरोपी झारखंड से गिरफ्तार

Pakistani Terrorists : टेरर फंडिंग का छत्तीसगढ़ कनेक्शन…9 वर्षों से फरार आरोपी झारखंड से गिरफ्तार

Pakistani Terrorists: Accused of absconding funding arrested for 10 years

Pakistani Terrorists

रायपुर/नवप्रदेश। Pakistani Terrorists : रायपुर पुलिस ने भारत में रह रहे आतंकियों के लिए काम करने वाले श्रवण कुमार मंडल को गिरफ्तार किया है। मूल रूप से बिहार के जुमाई का रहने वाला यह शातिर कुछ समय पहले छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में रहकर घिनौना काम को अंजाम दे रहा था। उसके अन्य दो साथी साल 2013 में ही गिरफ्तार हो चुके है। पुलिस को श्रवण कुमार की तलाश थी, जो 10 वर्षों से फरार था। आरोपी श्रवण को झारखंड के देवघर से पकड़ा गया। ईडी ने उसके खिलाफ टेरर फंडिंग मामले में भी मामला दर्ज किया था।

पाकिस्तान से आए पैसे का टेरर फंडिंग में उपयोग

श्रवण का मौसेरा भाई धीरज रायपुर में रहकर फास्ट फूड का ठेला चलाता था। साल 2013 में धीरज पाकिस्तानी कनेक्शन की वजह से पकड़ा गया था। दरअसल वो अपने मौसेरे भाई श्रवण का ही साथ दे रहा था, इसी वजह से वह गिरफ्तार हुआ। पाकिस्तान से डायरेक्ट (Pakistani Terrorists) लिंक रखते हुए फंडिंग का काम श्रवण किया करता था। जब पुलिस ने 2013 में धर पकड़ की थी तब श्रवण भाग गया था।

रायपुर पुलिस को सबूत मिले हैं कि श्रवण ने भारतीय लोगों के नाम पर ICICI बैंक में खाते खुलवाए। पाकिस्तान से आने वाली रकम को इन खातों के जरिए आतंकियों के काम करने वाले दूसरे लोगों का भेजा करता था। ये रकम आतंकी संगठन सिमी और इंडियन मुजाहिदीन से जुड़े लोग इस्तेमाल करते थे। श्रवण एक तरह से दोनों आतंकी संगठनों के लिए स्लीपर सेल की तरह काम किया करता था, वो आम लोगों के बीच आम मजदूरी वगैरह करके जिंदगी बिता रहा था, मगर इसके संबंध पाकिस्तानी आकाओं से थे।

पाकिस्तान से आता है फोन

पाकिस्तान में रहने वाले खालिद नाम के शख्स ने श्रवण को फोन किया था। उसके कहा था कि बैंक में खाते खुलवाओ, तुम्हें भी पैसे कमाने का मौका मिलेगा, खाते में आने वाली रकम का 13% कमीशन काटकर बाकी के पैसे राजू खान, जुबैर हुसैन और आयशा बानो नाम के लोगों के अकाउंट में ट्रांसफर करने हैं। श्रवण और इसका भाई धीरज साव ही बताए गए खातों में रकम ट्रांसफर करता था।

2 साथी पिछले साल पकड़े गए थे

NIA को भी इसके सबूत मिले थे कि ये पैसे SIMI और इंडियन मुजाहिदीन (Pakistani Terrorists) के आतंकियों तक पहुंच रहे हैं। साल 2013 में धीरज की गिरफ्तारी रायपुर में हुई। इसके मौसेर भाई श्रवण की तभी से तलाश जारी थी। इस केस में धीरज, जिनके खातों में रकम जाती थी। उनमें मैंगलोर के रहने वाले जुबैर और आयशा का नाम शामिल था। पप्पू मंडल और राजू खान को पिछले साल गिरफ्तार किया गया है।

JOIN OUR WHATS APP GROUP

डाउनलोड करने के लिए यहाँ क्लिक करें

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *