NAAC Rating IIT : विकसित भारत शिक्षा अधिष्ठान के बाद अब आईआईटी की गुणवत्ता पर भी नैक की नजर

NAAC Rating IIT

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विश्वविद्यालयों व कालेजों की तरह अब भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थानों (आईआईटी) की गुणवत्ता का मूल्यांकन होगा और उन्हें नैक (भारतीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद) की रेटिंग दी जाएगी। इसकी शुरुआत विकसित भारत शिक्षा अधिष्ठान विधेयक के अस्तित्व में आने के बाद होगी।

इसी क्रम में (NAAC Rating IIT) को उच्च शिक्षा की गुणवत्ता से जोड़ने की दिशा में बड़ा कदम माना जा रहा है। फिलहाल यह विधेयक संसद की संयुक्त समिति के पास विचाराधीन है। जो संकेत दिए जा रहे हैं, उनमें बजट सत्र के दौरान समिति की रिपोर्ट मिलने के साथ सरकार इसे पारित कराने की तैयारी में है, ताकि (NAAC Rating IIT) की प्रक्रिया को औपचारिक रूप दिया जा सके।

मंत्रालय से जुड़े वरिष्ठ अधिकारियों के मुताबिक अब तक आईआईटी नैक रेटिंग जैसे दायरों से मुक्त थे। हालांकि वैश्विक प्रतिस्पर्धा में इन संस्थानों को और मजबूती से खड़ा करने तथा उच्च शिक्षण संस्थानों में एकरूपता लाने के लिए विधेयक में उन्हें भी इस दायरे में शामिल करने का प्रस्ताव है।

इस बदलाव के बाद (NAAC Rating IIT) व्यवस्था से आईआईटी की अकादमिक गुणवत्ता और पारदर्शिता को भी राष्ट्रीय स्तर पर परखा जाएगा। अभी देश में कुल 23 आईआईटी हैं। इसके साथ ही सभी उच्च शिक्षण संस्थानों को गुणवत्ता पर विशेष ध्यान देते हुए उन्हें भी मूल्यांकन व रेटिंग प्रक्रिया से जोड़ा जाएगा, जिसमें (NAAC Rating IIT) एक अहम संदर्भ बनेगा।

अभी देश में करीब 12 सौ विश्वविद्यालय और लगभग 45 हजार कालेज व अन्य उच्च शिक्षण संस्थान हैं, लेकिन नैक की रेटिंग के लिए अभी करीब आठ सौ विश्वविद्यालय और 15 हजार कालेज ही हिस्सा लेते हैं। मंत्रालय का मानना है कि उच्च शिक्षा की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए जरूरी है कि सभी उच्च शिक्षण संस्थान इस प्रक्रिया में भाग लें। इसी सोच के तहत (NAAC Rating IIT) को भी व्यापक शिक्षा सुधार का हिस्सा बनाया जा रहा है।

मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि नैक मूल्यांकन व रेटिंग के नए नियम भी तैयार किए जा रहे हैं, जो जल्द सामने आ सकते हैं। इनमें संस्थानों को अलग-अलग मापदंडों पर स्वयं जानकारी देनी होगी।

इस दौरान संस्थानों को अब मूल्यांकन प्रक्रिया में हर साल नए सिरे से हिस्सा नहीं लेना होगा, बल्कि एक बार रेटिंग मिलने के बाद उनसे सिर्फ कुछ बिंदुओं पर ही जानकारी मांगी जाएगी। इस व्यवस्था से (NAAC Rating IIT) सहित पूरे उच्च शिक्षा तंत्र में निरंतर गुणवत्ता सुधार को बढ़ावा मिलने की उम्मीद है।