Khairagarh Palace : प्रशासन के सामने खुला उदयपुर का ताला…
खैरागढ़/नवप्रदेश। Khairagarh Palace : प्रसिद्ध खैरागढ़ रियासत के राजा देवव्रत सिंह की मौत के बाद पारिवारिक विवाद सड़क पर पहुंच गया है. रियासत के राजा देवव्रत सिंह की मृत्यु 4 नवंबर को हुई थी, जिसके बाद उनका उदयपुर पैलेस बंद कर दिया गया था। गुरुवार को शाम चार बजे के बाद काफी हंगामे के बीच महल का ताला खोला गया।
जिला प्रशासन ने किया किया था महल को बंद
राजा देवव्रत सिंह इसी महल में रहते थे और उनकी मृत्यु के बाद उठे पारिवारिक विवाद को देखते हुए जिला प्रशासन ने महल में सरकारी ताला लगा दिया था। जिला प्रशासन ने इस ताला को 30 दिसंबर को खोलने की जानकारी दी थी। इस पर रानी विभा सिंह ने अपनी बेटी के इलाज का हवाला देकर कलेक्टर से ताला न खोलने जाने का अनुरोध किया था। जिला प्रशासन ने उनके अनुरोध को न मानते हुए गुरुवार को महल का ताला खोल रहा है। इस दौरान ताले की चाबी न मिलने से उसे खोलने के लिए गैस कटर भी मंगवाया गया है। इस दौरान महल में स्व. देवव्रत सिंह के बेटे राजा आर्यव्रत सिंह और बेटी शताक्षी सिंह सहित उनकी बुआ व परिवार के अन्य सदस्यों सहित रानी विभा भी मौजूद हैं।
ग्रामीणों की मांग बेटे आर्यव्रत सिंह का होगा ताज
इससे पहले भी मंगलवार को स्व. देवव्रत सिंह के समर्थकों ने खैरागढ़ स्थित कमल पैलेस (Khairagarh Palace) का घेराव कर रानी विभाग सिंह के खिलाफ हल्ला बोला था। लोगों के बढ़ते आक्रोश को देखते हुए ही जिला प्रशासन रानी विभा सिंह के मना करने के बाद भी गुरुवार को उदयपुर पैलेस का ताला खोलने की तैयारी कर रहा है। पैलेस का ताला न खोलने जाने को लेकर रानी विभा सिंह अपने वकील को लेकर पहुंची हुई हैं तो वहीं दूसरे पक्ष से रानी पद्मा सिंह के बच्चों ने भी अपना वकील खड़ा किया है।
अधिवक्ता दोनों पक्षों में उभरे विवाद को पारिवारिक बताते हुए जिला प्रशासन को दखल न देने की बात कह रहे हैं। वहीं रियासत के अलग-अलग गांव से पहुंचे हजारों की संख्या में ग्रामीणों का कहना है कि राजतिलक के बाद उनका राजा अब आर्यव्रत सिहं हैं। यदि जिला प्रशासन महल का ताला नहीं खोलता है तो वह खुद ही ताला खोल देंगे और राजा आर्यव्रत को महल के अंदर ले जाएंगे।
बच्चों को बरगलाने की बात कर रही हैं विभा सिंह
दूसरी ओर रानी विभा सिंह का कहना है कि आर्यव्रत और शताक्षी सिंह अभी बहुत छोटे हैं। राजा देवव्रत सिंह की मौत के बाद उनकी कस्टडी उनके अधिकार क्षेत्र में आ गई है। वह जो कर रही हैं उनकी भलाई और सुरक्षा को लेकर कर रही हैं। अभी दोनों बच्चों की लिखने पढऩे की उम्र हैं। वह अपनी मां और राजा की पहली पत्नी पद्मा सिंह के बहकावे में आकर ऐसा कर रहे हैं। जबकि पहली पत्नी का इस रियासत पर कई हक नहीं है।
बच्चों ने लगाई थी न्याय की गुहार
दिवंगत विधायक व राजा स्व. देवव्रत सिंह और उनकी दूसरी पत्नी विभा सिंह (Khairagarh Palace) के साथ गहने, नगदी और जबरन कमल विलास पैलेस में कब्जा करने जैसे आडियों वायरल शोसल मीडिया में वायरल हो रहे हैं। इसके बाद सोमवार को स्व. देवव्रत सिंह के बेटे आर्यव्रत सिंह और बेटी शताक्षी सिंह ने मीडिया के सामने विभा सिंह द्वारा उन्हें शारीरिक और मानसिक रूप से प्रताडि़त करने का आरोप लगाया। बच्चों द्वारा लोगों से न्याय और मदद की गुहार लगाने के बाद राजा के समर्थकों में खासा रोष व्याप्त है। इसी मुद्दे को लेकर राजपरिवार के सदस्यों और उनके समर्थकों ने कमल विलास पैलेस के सामने जमकर हंगामा किया।