संपादकीय: पीओके में मानवाधिकार का उल्लंघन

Human rights violations in PoK
Editorial: पाक अधिकृत कश्मीर में पिछले एक सप्ताह से वहां के बाशिंदे बढ़ती महंगाई और बिजली की कटौती जैसी मूलभूत समस्याओं के समाधान की मांग को लेकर आंदोलनरत है। लाखों की भीड़ सड़कों पर उतरकर शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रही थी किन्तु इस आंदोलन को कुचलने के लिए पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शाहबाज शरीफ ने सेना को उतार दिया। नतीजतन वहां हालात इस कदर खराब हुए की शांतिपूर्ण आंदोलन ने हिंसक आंदोलन की शक्ल अख्तियार कर ली।
पुलिस और पाकिस्तानी सेना के बल प्रयोग करने से नाराज हुई भीड़ ने उनपर पत्थर फेंके कई पुलिसकर्मियों और सैनिकों को बंधक बनाकर उनकी वदियां फाड़ डाली और उन फटी हुई वर्दियों को चौराहे पर टांग दिया। इसके बाद सेना ने आंदोलनरत लोगों पर गोलियों की बौछार कर दी जिसकी वजह से लगभग सौ लोग मारे गये और तीन सौ से ज्यादा घायल हो गये।
इन घायलों का भी पीओके के सरकारी अस्पतालों में इलाज नहीं होने दिया जा रहा है। यह मानवाधिकार का खुला उल्लंघन है। पीओके के आंदोलनरत लोगोंं ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से गुहार लगाई है कि वे पीओके में पुलिस और सेना के जुल्म को रोकने और मानवाधिकार का उल्लंघन बंद कराने के लिए पाकिस्तान की सरकार पर दबाव बनाये सेना के अत्याचार से पीडि़त होकर वहां के लोगों ने अब एक बार फिर अपनी आजादी की मांग जोर शोर से उठानी शुरू कर दी है।
इधर भारत की भी पीओके पर नजर बनी हुई है। हालांकि भारत किसी भी देश के किसी भी आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप नहीं करता लेकिन पीओके की बात अलग है लेकिन पीओके को भारत अपना हिस्सा मानता है और पाकिस्तान को कई बार उसने यह चेतावनी दी है कि वह पीओके से अपना अवैध कब्जा हटाये जब भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ आपरेशन सिंदूर चलाया है तभी यह उम्मीद की जा रही थी कि लगे हाथ भारत पीओके को भी वापस ले लेगा ।
किन्तु अचानक संघर्ष विराम हो जाने के कारण ऐसी स्थिति नहीं बन पाई इस बारे में भारतीय रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने बयान दिया था कि पीओके के लिए हमें कुछ करने की जरूरत नहीं है पीओके के लोग खुद ही भारत में अपना विलय करने के लिए आगे आएंगे। अब ऐसे ही हालात बन रहे हैं इधर भारतीय आर्मी चीफ जनरल उपेन्द्र द्विवेदी ने पाकिस्तान को चेतावनी दी है कि वह आतंकवाद का रास्ता छोड़ दे अन्यथा भारतीय सेना पाकिस्तान का भूगोल बदल देगी।
अब यदि भारत ने आपरेशन सिंदूर पार्ट 2 चलाया तो पाकिस्तान के खिलाफ सैन्य कार्यवाही में भारतीय सेना कोई संयम नहीं बरतेगी। कुछ ऐसा ही बयान भारतीय वायु सेना के चीफ एपी सिंह ने भी दिया है। इन दो सेना प्रमुखों के बयानों को देखकर यही लगता है कि भारत अब पीओके में कुछ बड़ा करने जा रहा है इससे पाकिस्तानी हुक्मरानों की नींद हराम हो गई है। पाकिस्तान में पहले ही बलूचिस्तान के हालात लगातार खराब हो रहे हैं। वहां के बलूचो ने बगावत का बिगूल फूंक रखा है ऐसे में पीओके में भी लोगों का आंदोलित होना पाकिस्तानी सरकार और सेना के लिए परेशानी का सबब गया है। पाकिस्तान के खिलाफ आपरेशन सिंदूर पार्ट 2 के भी जल्द शुरू होने की सुगबुगाहट शुरू हो गई है यदि ऐसा हुआ तो इस बार पीओके भारत का हिस्सा बन जाएगा और वहां भी तिरंगा लहराएगा।