Ghatshila Bypoll 2024 : सीएम सोरेन और पत्नी कल्पना 3 नवंबर से करेंगे प्रचार,झामुमो और भाजपा के बीच सियासी संग्राम तेज

Ghatshila Bypoll 2024

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घाटशिला विधानसभा उपचुनाव के रण में सियासी सरगर्मी अब चरम पर है। झामुमो और भाजपा (Ghatshila Bypoll 2024) दोनों ही दलों ने अपने-अपने स्टार प्रचारकों को मैदान में उतारने की तैयारियां पूरी कर ली हैं। प्रदेश स्तरीय नेताओं, सांसदों और विधायकों ने पहले ही घाटशिला में कैंप कर लिया है।

झामुमो की ओर से मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और विधायक कल्पना मुर्मू सोरेन 3 या 4 नवंबर से प्रचार अभियान की कमान संभालेंगे। पार्टी उनके चुनावी कार्यक्रमों को अंतिम रूप दे रही है। वहीं भाजपा की ओर से 5 नवंबर को केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान और 6 नवंबर को पश्चिम बंगाल के नेता प्रतिपक्ष शुभेंदु अधिकारी घाटशिला में चुनावी सभा करेंगे।

झामुमो के नेताओं ने संभाली प्रचार की जिम्मेदारी

झामुमो ने पूरे क्षेत्र में अपने दिग्गज नेताओं को जिम्मेदारी सौंप दी है। पार्टी के केंद्रीय महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य, सांसद विजय हांसदा, मंत्री दीपक बिरुआ, पूर्व मंत्री मिथिलेश ठाकुर, विधायक समीर मोहंती, मंगल कालिंदी, संजय सरदार, जगत माझी, और आलोक सोरेन लगातार प्रचार में जुटे हैं। प्रत्येक विधायक को एक-एक प्रखंड की जिम्मेदारी दी गई है, वहीं स्थानीय कार्यकर्ताओं को बूथ स्तर पर सक्रिय कर दिया गया है। झामुमो का पूरा फोकस (Ghatshila Bypoll 2024) में संगठन की मजबूती और मतदाताओं तक सीधा संपर्क बनाने पर है।

वाम दलों का झामुमो को समर्थन

सीपीआई के बाद अब भाकपा (माले) ने भी झामुमो प्रत्याशी सोमेश सोरेन को समर्थन देने की घोषणा की है। इससे झामुमो के खेमे में नई ऊर्जा का संचार हुआ है और चुनावी समीकरण भाजपा के लिए चुनौतीपूर्ण बनते दिख रहे हैं। (Ghatshila Bypoll 2024) में वाम दलों के समर्थन को झामुमो अपने पक्ष में मजबूत मोड़ मान रहा है।

आदित्य साहू ने किया चुनावी कार्यालय का उद्घाटन

भाजपा भी पीछे नहीं है। प्रदेश भाजपा के कार्यकारी अध्यक्ष आदित्य साहू ने शुक्रवार को घाटशिला पहुंचकर राखा कॉपर में पार्टी के चुनावी कार्यालय का उद्घाटन किया। उन्होंने दावा किया कि “घाटशिला की जनता भाजपा प्रत्याशी बाबूलाल सोरेन को रिकॉर्ड मतों से जिताकर रांची भेजेगी।” उन्होंने राज्य सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि “पिछले छह सालों में झारखंड का विकास पूरी तरह ठप पड़ा है।” भाजपा का लक्ष्य (Ghatshila Bypoll 2024) को राज्य की सत्ता तक पहुंचने की नई सीढ़ी बनाना है।

भाजपा से झामुमो में आए नेताओं का स्वागत

मुसाबनी प्रखंड के झामुमो संपर्क कार्यालय में शुक्रवार को भाजपा छोड़कर झामुमो में शामिल हुए कई नेताओं का स्वागत किया गया। इस दौरान झामुमो के केंद्रीय प्रवक्ता कुणाल षाड़ंगी, प्रखंड अध्यक्ष प्रधान सोरेन और कई वरिष्ठ कार्यकर्ता मौजूद थे। भाजपा नेता सौरभ चक्रवर्ती, तुषार पातर, कौशिक सिन्हा, सुरेश महाली, और युवा नेता प्रदीप बिसोई ने झामुमो का दामन थामा। इन नेताओं ने कहा कि “अनुभवी नेतृत्व के साथ संगठन और मजबूत होगा और जनकल्याण की दिशा में काम को नई ऊर्जा मिलेगी।” इस घटनाक्रम ने (Ghatshila Bypoll 2024) की सियासी हवा झामुमो के पक्ष में कर दी है।

राजनीतिक तापमान बढ़ा, मुकाबला रोचक होने की उम्मीद

घाटशिला उपचुनाव में जैसे-जैसे प्रचार का दौर तेज हो रहा है, वैसे-वैसे सियासी तापमान भी बढ़ रहा है। झामुमो के स्टार प्रचारक हेमंत सोरेन और भाजपा के दिग्गज नेता शिवराज सिंह चौहान की आमने-सामने की सभाओं से इस उपचुनाव का मुकाबला और दिलचस्प होने की उम्मीद है। (Ghatshila Bypoll 2024) में अब हर दिन रणनीतिक हमलों और प्रत्युत्तरों से चुनावी जंग और गर्माती जा रही है। (Ghatshila Bypoll 2024) के परिणाम न केवल एक सीट का फैसला करेंगे, बल्कि यह झारखंड की आगामी सियासी दिशा तय करने में अहम भूमिका निभाएंगे। झामुमो जहां इसे अपनी सरकार के जनादेश की पुनः पुष्टि के रूप में देख रहा है, वहीं भाजपा इसे जनता की असंतुष्टि का संकेत मान रही है।