DURG News : कलेक्टर ने किया तहसील कार्यालय का दौरा, 2 रीडरों को किया निलंबित, 3 तहसीलदारों को नोटिस
दुर्ग, नवप्रदेश। दुर्ग जिले से अव्यवस्था के खिलाफ कार्रवाई की एक बड़ी खबर सामने आ रही है। यहां कलेक्टर ने तहसील कार्यालय का दौरा किया है। इस दौरान कार्यालय में जो भी कमी और खामियां देखने को मिली।
दुर्ग कलेक्टर पुष्पेंद्र मीणा ने इन कामों के प्रति जिम्मेदार व्यक्ति के खिलाफ सख्त कार्रवाई की है। कलेक्टर ने दो रीडरों को निलंबित करने के साथ तीन नायाब तहसीलदारों को नोटिस भी भेजा (DURG News) है।
दरअसल दुर्ग जिले के कलेक्टर पुष्पेंद्र मीणा तहसील कार्यालय का औचक निरिक्षण करने पहुंचे थे। इस दौरान उन्हें वहां कई खामियां देखने को मिली जैसे काफी प्रकरणों को ऑनलाइन रजिस्टर नहीं किया गया था।
इसके कारण कई प्रकरणों का निराकरण नहीं हो सका है और उसमें देरी हो रही है। इसे नाराज होकर कलेक्टर पुष्पेंद्र मीणा ने रीडर तनसुख देशमुख और सुरेख तिवारी को निलंबित कर दिया है, तो वहीं तीन नायाब तहसीलदारों को भी नोटिस भेजा गया (DURG News) है।
मिली जानकारी के अनुसार दुर्ग कलेक्टर पुष्पेंद्र मीणा ने नायब तहसीलदार ढाल सिंह, प्रीतम सिंह चौहान और सत्येंद्र शुक्ला को शोकाज नोटिस जारी किया है। तो वहीं अनुविभागीय अधिकारी कार्यालय में रीडर मोहम्मद कादिर को भी शोकाज नोटिस जारी किया गया है। कलेक्टर ने लंबित फाइलों की जांच की साथ ही तहसील कार्यालय में आने वाले लोगों से उनके आने का कारण भी पूछा और ये जाना की उनके प्रकरण कितने पुराने हैं जो अब तक लंबित (DURG News) हैं।
समय सीमा पर काम पूरा करने के दिए निर्देश
कलेक्टर पुष्पेंद्र मीणा ने निरिक्षण के दौरान निर्देशित किया कि किसी भी प्रकरण में पटवारी और आरआरआई के प्रतिवेदन विलंब नहीं होने चाहिए। किसी कारणवश यदि विलंब हो भी जाए तो इसका कारण स्पष्ट होना चाहिए।
साथ ही इस विलंब की पूरी जानकारी आवेदकों को होनी चाहिए। इसके अलावा सीमांकन के लिए टीम तय किये गए समय पर पहुंचे इसकी लगातार मॉनिटरिंग की जाएगी।
प्रकरणों को समय सीमा पर पूर्ण करने की जिम्मेदारी तहसीलदारों की होगी
साथ ही कलेक्टर पुष्पेंद्र मीणा ने कहा कि सभी प्रकरणों को समाय सीमा पर पूर्ण करने की जिम्मेदारी तहसीलदार की होगी। साथ ही उन्होंने कहा कि प्रकरण के आते ही नियमानुसार इसके आनलाइन रजिस्ट्रेशन से संबंधित कार्रवाई शुरू हो जाए। समयसीमा से अधिक समय से लंबित प्रकरणों में लगातार सुनवाई कर फैसला शीघ्र किया जाए।