Budget Session : हंगामों की भेंट चढ़ता बजट सत्र
Budget Session : बजट सत्र बेहद महत्वपूर्ण होता है बजट पेश होने के बाद उसपर गंभीर चर्चा की जाती है और फिर विपक्ष के सुझावों और मांगों के अनुरूप बजट की खामियों को दूर करने का भी प्रयास किया जाता है इसलिए बजट सत्र का सुचारू रूप से चलना देशहित में है लेकिन संसद के पिछले अन्य सत्रों की तरह ही बजट सत्र भी हंगामों की भेंट चढ़ता नजर आ रहा है। यह ठीक है कि एक अमेरिकी कंपनी हिंडन बर्ग ने भारतीय उद्योगपति गौतम अडानी के व्यवसाय के बारे में सनसनी खेज रिपोर्ट जारी की है जिसके चलते अडानी गु्रप के शेयरों के दाम गिरे है जिससे भारतीय अर्थव्यवस्था के प्रभावित होने का खतरा पैदा हुआ है। संसद के बजट सत्र में आज भी हंगामा हो रहा है. विपक्ष के हंगामे के कारण लोकसभा और राज्?यसभा दोनों की कार्यवाही मंगलवार दोपहर 11 बजे तक के लिए स्?थगित कर दी गई है.
दोनों सदनों की कार्यवाही इससे पहले दोपहर 2 बजे तक के लिए स्?थगित की गई है. इससे पहले विपक्षी दलों ने आज भी केंद्र सरकार को घेरने के लिए रणनीति बनाई. संसद में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे के चैंबर में विपक्षी दलों ने कई मुद्दों पर रणनीति के लिए उनसे मुलाकात की, जहां कांग्रेस, डीएमके, एनसीपी, बीआरएस, जेडीयू, एसपी, सीपीएम, सीपीआई, केरल कांग्रेस (जोस मणि), जेएनएम, आरएलडी, आरएसपी, आप, आईयूएमएल, आरजेडी व शिवसेना शामिल रही। इससे पहले भी दो दिनों से संसद की कार्यवाही विपक्ष के हंगामे की भेंट चढ़ गई.
बैठक के बाद संसद में गांधी प्रतिमा के सामने विपक्षी सांसदों ने प्रदर्शन किया. विपक्षी पार्टियां कई मुद्दों पर संसद की कार्यवाही को बार-बार बाधित कर रही हैं. शिवसेना सांसद संजय राउत ने कहा कि देश में कई मामले सामने आए हैं, उसे लेकर सभी विपक्षी पार्टियां एक साथ बैठकर चर्चा कर रही हैं, लेकिन मुझे लगता है सरकार जब तक जवाब नहीं दे रही, इस मामले में ज्वाइंट पार्लियामेंट्री कमेटी की जो मांग है, वो हमारी आगे जारी रहेगी.
इस बीच कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने चीन के साथ सीमा की स्थिति पर चर्चा के लिए लोकसभा में स्थगन प्रस्ताव का नोटिस दिया. वहीं, कांग्रेस सांसद डॉ. सैयद नसीर हुसैन ने नियम 267 के तहत एलआईसी, एसबीआई, सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों और अन्य वित्तीय संस्थानों द्वारा निवेश में धोखाधड़ी के मुद्दे पर चर्चा करने के लिए राज्य सभा में सस्पेंशन ऑफ बिजनेस नोटिस दिया, जो बाजार मूल्य खो रहे है।