Baby Girl Rescue : तस्वीर में दिख रही बेरहम टीचर ने बच्ची को 4 दिनों तक बाथरूम में रखा बंद…जानिए पूरा मामला…

Baby Girl Rescue : तस्वीर में दिख रही बेरहम टीचर ने बच्ची को 4 दिनों तक बाथरूम में रखा बंद…जानिए पूरा मामला…

Baby Girl Rescue: The heartless teacher seen in the picture kept the girl locked in the bathroom for 4 days… know the whole matter…

Baby Girl Rescue

रायगढ़/नवप्रदेश। Baby Girl Rescue : रायगढ़ जिले के खरसिया में एक सरकारी स्कूल की शिक्षिका ने 4 साल की बच्ची को इतना प्रताड़ित किया कि वो अभी भी सदमे में है। आशा अग्रवाल नामक इस महिला ने छोटी सी बच्ची को 4 दिनों तक बाथरूम में बंद कर दिया। इस दौरान बच्ची को खाना भी नहीं दिया। बच्ची बाथरूम खोलने के लिए रोती-गिड़गिड़ाती रही, लेकिन बेरहम टीचर का दिल नहीं पसीजा। फिलहाल बच्ची को रेस्क्यू कर लिया गया है। मामला खरसिया थाना क्षेत्र का है। पुलिस आशा की गिरफ्तारी के लिए किसी रिपोर्ट का इंतजार कर रही है।

जिला बाल संरक्षण अधिकारी दीपक डनसेना ने बताया कि आज से 9 साल पहले जब वे चाइल्ड लाइन में समन्वयक के पद पर पदस्थ थे, उस वक्त भी इसी शिक्षिका आशा अग्रवाल के घर से एक 6 साल की बच्ची को रेस्क्यू किया गया था। उनकी टीम ने बच्ची को रायगढ़ लाकर सुरक्षा दी गई थी। एक बार फिर 4 साल की मासूम इसी शिक्षिका के घर से रेस्क्यू की गई है।

मां-बाप पाल नहीं सकते थे

उन्होंने बताया कि शिक्षिका का पति ट्रांसपोर्टर है। बच्ची विश्रामपुर की (Baby Girl Rescue) रहने वाली है। उसके पिता ड्राइवर हैं। माता-पिता गरीबी के कारण बच्ची को पालने में असमर्थ थे, तो उन्होंने अपनी बच्ची को सरकारी स्कूल की टीचर आशा अग्रवाल को पालने के लिए दे दिया।

गरीब माता-पिता ने सोचा था कि शिक्षिका के घर में रहकर उनकी बेटी का भविष्य बन जाएगा। वो पढ़ेगी-लिखेगी, उसे 2 वक्त का खाना और अच्छी जिंदगी मिलेगी। लेकिन आरोपी शिक्षिका ने गरीब माता-पिता का फायदा उठाया और उन्हें आश्वासन देकर बच्ची को अपने साथ ले आई और उसे प्रताड़ित करना शुरू किया।

दीपक डनसेना ने कहा कि शिक्षिका की आदत है कि वो बच्चों को पहले लाती है और फिर उसे प्रताड़ित करती है। बताया जा रहा है कि आरोपी का पति अक्सर घर से बाहर रहता था। वो कभी-कभी ही घर आता था। महिला अकेले बच्ची के साथ रहती थी, इसलिए उसे रोकने वाला कोई नहीं था।

नौकर बोला- महिला का व्यवहार बहुत खराब

आरोपी महिला के घर पिछले 20 दिनों से सुखदेव सिंह ठाकुर नाम का बुजुर्ग काम कर रहे थे। उन्होंने भी बताया कि महिला का व्यवहार बच्ची के साथ बहुत ही खराब था। वो बच्ची को बहुत प्रताड़ित कर रही थी। खरसिया में रहने वाली आशा अग्रवाल शासकीय शिक्षिका के पद पर पदस्थ है। उसने 4 साल की बच्ची को प्रताड़ित करते हुए उसे बाथरूम में बंद कर दिया। इस मामले की जानकारी पड़ोसियों के द्वारा जब बाल सरंक्षण विभाग के अधिकारियों को दी गई, तो उनकी टीम तत्काल मौके पर पहुंची और स्थानीय पुलिस के सहयोग से बच्ची का रेस्क्यू किया। उसे बाथरूम से सुरक्षित निकालकर चाइल्ड लाइन के सुपुर्द किया गया है।

नोटिस जारी

जिला बाल संरक्षण अधिकारी ने कहा कि बच्ची की काउंसलिंग सीडब्ल्यूसी में हुई है और आगे की कार्रवाई की जा रही है। इधर जिला शिक्षा अधिकारी बरनाबस बाखला ने मामले को गंभीरता से लेते हुए सहायक शिक्षिका आशा अग्रवाल को नोटिस जारी किया है। जिसमें कहा गया है कि आपका यह आचरण एक शिक्षिका के अनुरूप नहीं है। 24 अप्रैल को यहां उपस्थित होकर अपना स्पष्टीकरण दें।

शिक्षा विभाग को लिखेंगे पत्र

वहीं जिला बाल संरक्षण अधिकारी, सीडब्ल्यूसी भी इस मामले (Baby Girl Rescue) में शिक्षिका के खिलाफ कार्रवाई करने पुलिस प्रशासन व शिक्षा विभाग को पत्र लिखेंगे। पुलिस का कहना है कि जिला बाल संरक्षण की टीम के रिपोर्ट देने के बाद शिक्षिका पर कार्रवाई की जाएगी।

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