संपादकीय: आस्ट्रेलिया ने सीरीज जीती बुमराह ने दिल

संपादकीय: आस्ट्रेलिया ने सीरीज जीती बुमराह ने दिल

Australia won the series, Bumrah took heart

Australia won the series, Bumrah took heart

Australia won the series, Bumrah took heart: आस्ट्रेलिया में बार्डर-गावस्कर ट्राफी के सिडनी में खेले गए अंतिम मैच में आस्ट्रेलिया ने भारत को छह विकेट से हराकर इस सीरीज पर कब्जा कर लिया। आस्ट्रेलिया ने एक दशक के बाद बार्डर गावस्कर ट्राफी 3-1 से अपने नाम कर की है। इस पूरी सीरीज में भारतीय बल्लेबाजों ने निराश किया है। बहरहाल भले ही ट्राफी आस्टेे्रलिया ने जीती हो लेकिन भारतीय तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह ने तमाम क्रिकेट प्रेमियों का दिल जीत लिया है। उन्होंने इस सीरीज में सर्वाधिक 32 विकेट चटकायें है।

इस बेहतरीन प्रर्दशन के लिए जसप्रीत बुमराह को मैन ऑफ द सीरीज का खिताब मिला है। जसप्रीत बुमराह भी टीम इंडिया के एक मात्र ऐसे खिलाड़ी है जिन्होंने इस सीरीज में शानदार प्रर्दशन किया है। किन्तु एक अकेला चना भाड नहीं फोड़ सकता। बल्लेबाजों ने बुरी तरह से निराश किया है।

खासतौर पर टीम इंडिया के कप्तान रोहित शर्मा और टीम इंडिया के सबसे धाकड़ बल्लेबाज विराट कोहली ने अपने प्रर्दशन से क्रिकेट प्रेमियों को इस कदर निराश किया है कि लोग अब इन दोनों ही खिलाडिय़ों से टेस्ट विकेट से संन्यास लेने की अपील करने लगे है। पूरी सीरीज में इन दोनों ही धुरंधरों का बल्ला खामोश रहा है।

यही वजह है कि टीम इंडिया को आस्ट्रेलिया में शर्मनाक हार का सामना करना पड़ा है और उसके टेस्ट क्रिकेट के वल्र्ड कप में सीधे फाइनल में पहुंचने की उम्मीद टूट गई है। आस्ट्रेलिया में भारत को मिली पराजय के बाद भारतीय टीम के हेड कोच गौतम गंभीर ने कहा है कि रोहित शर्मा और विराट कोहली जैसे खिलाडिय़ों के भविष्य पर वे टिप्पणी नहीं कर सकते यह तो इन खिलाडिय़ों पर ही निर्भर है।

गौरतलब है कि टीम इंंडिया के कप्तान रोहित शर्मा ने भी एक इंटरव्यू के दौरान यह कहा है कि वे अभी रिटार्यमेन्ट नहीं ले रहें है वे अभी भी खेलना चाहते है। विराट कोहली ने प्रदर्शन के बारे में कोई टिप्पणी नहीं की है जबकि इसी सीरीज के दौरान भारतीय स्पीनर रविचंद्रन अश्विन ने टेस्ट क्रिकेट से संन्यास लेने की घोषणा कर एक नई मिसाल पेश की थी।

इसी के बाद से खराब फार्म से जूझ रहे रोहित शर्मा और विराट कोहली पर भी टेस्ट क्रिकेट से संन्यास लेने का दबाव बढऩे लगा है किन्तु ये दोनों ही खिलाड़ी अभी और खेलना चाहते है जो टीम इंडिया के लिए लाभदायक होगा या नुकसान देह साबित होगा इस बारे में फिलहाल कुछ भी कह पाना मुहाल है।

जहां तक सिडनी टेस्ट की बात है तो उसमें कप्तान रोहित शर्मा नहीं खेले थे और उनकी जगह शुभन गिल को मौका दिया गया था लेकिन वे भी कुछ नहीं कर पाये। यदि शुभन गिल की जगह सरफराज खान को अवसर दिया जाता तो निश्चित रूप से आखिरी टेस्ट मैच भले ही भारत नहीं जीत पाता लेकिन ड्रा कराने में जरूर सफल हो जाता। सरफराज खान को टीम इंडिया में शामिल किया गया था लेकिन पांचों टेस्ट मैच में से एक भी मैच में उन्हें नहीं खिलाया गया।

जबकि टेस्ट क्रिकेट के लिए वे एक बेहतरीन बल्लेबाज है जिन्होंने प्रथम श्रेणी क्रिकेट में कई लंबी पारियां खेली है और हाल ही में न्यूजीलैंड के खिलाफ उन्होंने 150 रनों की बेहतरीन पारी खेली थी। इसके बावजूद उन्हें आस्ट्रेलिया में पूरी श्रृंखला के दौरान बैंच पर बिठाकर रखा गया। इसी तरह की और भी कई गलतियां की गई थी जिसकी वजह से टीम इंडिया को आस्ट्रेलिया में यह सीरीज गंवानी पड़ी है।

उम्मीद की जानी चाहिए की इस हार से भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड सबक लेगा और टीम इंडिया में बदलाव करने पर गंभीरतापूर्वक विचार करेगा जो वरिष्ठ खिलाड़ी अच्छा प्रर्द्रशन नहीं कर पा रहे है। उन्हें आराम देकर उनकी जगह नये खिलाडिय़ों को टीम इंडिया का हिस्सा बनाएगा। ऐसा करने से ही टीम इंडिया को मजबूती मिलेगी और टेस्ट क्रिकेट के अगले मैचों में वह उम्दा प्रदर्शन करने में सफल हो पाएगी।

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