शव लेने 8 दिन बाद पहुंचे सरपंच, घर वाले साथ में वकील….आधारकार्ड पर नाम में गड़बड़ी, एसपी बोले-नक्सली रखते है…
–naxal encounter: आधारकार्ड पर नाम की दिखी गड़बड़ी, एसपी बोले-नक्सली कई नाम रखते हैं
दंतेवाड़ा/नवप्रदेश। naxal encounter: अरनपुर थानाक्षेत्र के पोर्देम के जंगलो में 27 जून को दंतेवाड़ा डीआरजी और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में एक 5 लाख के ईनामी नक्सली 9 एमएम पिस्टल सहित संतोष मरकाम के मारे जाने की खबर निकली थी।
लेकिन इसी मुठभेड़ को लेकर मारे गये नक्सली संतोष मरकाम के परिजन और नीलावाया के ग्रामीणों ने दंतेवाड़ा पुलिस पर फर्जी मुठभेड़ का आरोप लगाते हुए मुठभेड़ (naxal encounter) में मारे गये संतोष मरकाम शव लेने से इंकार करते हुए इसे नीलावाया गांव में पकड़कर मारने की बात कहते हुए दोषी जवानों पर कार्यवाही की मांग पर अड़ गये थे।
अब 9 दिनों बाद सोमवार को ग्रामीण नीलावाया गांव से दंतेवाड़ा पहुँचकर शव को अंतिम संस्कार के लिए ले गए। ग्रामीणों के साथ सामाजिक कार्यकर्ता सोनी सोरी, सरपंच व परिजन और वकील भी मौजूद थे।
जहाँ समाजिक कार्यकर्ता सोनी सोरी ने कहा हम लोग कल भी 14 सदस्यीय जांच टीम बनाकर नीलावाया गांव पहुँचे थे जिसमें पीयूसीएल के सदस्य भी मौजूद थे। अंतिम संस्कार के बाद भी ये आंदोलन जारी रहेगा और ये लड़ाई बहुत मजबूती के साथ लड़ी जायेगी।
वही जिसे पुलिस 5 लाख का ईनामी नक्सली संतोष मरकाम बता रही है। दरअसल आधारकार्ड में उसका नाम हड़मा मड़काम पिता बीड़ा मरकाम ग्राम नीलावाया जन्मतिथि 1 जनवरी 1985 अंकित है। लेकिन मुठभेड़ में संतोष मरकाम के मारे जाने की खबर निकली थी।
इधर दंतेवाड़ा एसपी अभिषेक पल्लव ने कहा है। पोर्देम मुठभेड़ में मारा गया सन्तोष मरकाम है जिसे सरपंच सहित ग्रामीणों ने शिनाख्त की है। वैसे भी नक्सली संगठन में नक्सली अपना कई रूपांतरित नाम रखते हैं। हो सकता है संगठन में इसका नाम हड़मा रहा हो और उसने उसी नाम से आधारकार्ड भी बनवा लिया हो।