Sulakshana Pandit Death : 71 की उम्र में अभिनेत्री-संगीतकार सुलक्षणा पंडित का निधन, संजीव कुमार की पुण्यतिथि वाले दिन बुझा सुरों का सितारा
Sulakshana Pandit Death
अभिनय और गायिकी दोनों में अपनी अमिट छाप छोड़ने वाली सिनेमा जगत की दिग्गज अभिनेत्री सुलक्षणा पंडित (Sulakshana Pandit Death) का गुरुवार को 71 वर्ष की आयु में निधन हो गया। उनके भाई और प्रसिद्ध संगीतकार ललित पंडित ने बताया कि उन्हें कार्डियक अरेस्ट आया था। सुलक्षणा का जन्म 12 जुलाई, 1954 को एक प्रतिष्ठित संगीत-परिवार में हुआ था। महान शास्त्रीय गायक पंडित जसराज उनके चाचा थे।
संगीत से नाता विरासत में मिला (Sulakshana Pandit Death)
तीन बहनों और तीन भाइयों में से जतिन-ललित प्रसिद्ध संगीतकार जोड़ी के रूप में जाने जाते हैं। सुलक्षणा ने मात्र नौ वर्ष की उम्र में संगीत की शिक्षा शुरू कर दी थी। उन्होंने चलते-चलते, उलझन, अपनापन जैसी कई फिल्मों में अपनी सुरीली आवाज दी। 1975 में आई फिल्म ‘संकल्प’ के गीत ‘तू ही सागर है तू ही किनारा’ के लिए उन्हें फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ गायिका पुरस्कार मिला था। इसके अलावा उन्होंने राजा, हेराफेरी, संकोच, खानदान, और वक्त जैसी फिल्मों में अभिनय भी किया।
उनका पहला गाना 1967 की फिल्म ‘तकदीर’ में लता मंगेशकर के साथ ‘सात समुंदर पार से…’ था। इसके बाद उन्होंने किशोर कुमार और मोहम्मद रफी के साथ कई यादगार गीत गाए। फिल्म ‘दूर का राही’ (1971) का गीत ‘बेकरार दिल तू गाए जा…’ जो तनुजा पर फिल्माया गया था, आज भी श्रोताओं के दिलों में बसता है।
निजी जीवन में सुलक्षणा अविवाहित रहीं। उन्होंने अपनी पहली फिल्म ‘उलझन’ (1975) में अभिनेता संजीव कुमार के साथ स्क्रीन साझा की थी और उन्हीं से प्रेम करने लगी थीं। बताया जाता है कि उन्होंने संजीव कुमार से शादी का प्रस्ताव रखा, लेकिन उन्होंने इसे स्वीकार नहीं किया। संयोग से सुलक्षणा का निधन 6 नवंबर को उसी दिन हुआ, जब संजीव कुमार की पुण्यतिथि होती है। संजीव कुमार का निधन 6 नवंबर 1985 को हुआ था। संगीत और अभिनय के मधुर संगम की यह आवाज़ अब खामोश हो गई है, लेकिन सुलक्षणा पंडित के गीत और अभिनय आने वाली पीढ़ियों तक गूंजते रहेंगे।
