Eeb Diversion Project Chhattisgarh : छत्तीसगढ़ के इस जिले को मिलेगा सिंचाई विस्तार का तोहफा, ईब व्यपवर्तन योजना के लिए 37 करोड़ की स्वीकृति

Eeb Diversion Project Chhattisgarh

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छत्तीसगढ़ सरकार ने किसानों को बड़ी राहत देते हुए जल संसाधन विभाग की एक अहम परियोजना को हरी झंडी दे दी है। जशपुर जिले के कुनकुरी विकासखंड में संचालित ईब व्यपवर्तन योजना (Eeb Diversion Project Chhattisgarh) के जीर्णोद्धार और मरम्मत कार्यों के लिए राज्य सरकार ने 37 करोड़ 9 लाख 63 हजार रुपये की प्रशासकीय स्वीकृति प्रदान की है। यह निर्णय क्षेत्र की सिंचाई क्षमता को बढ़ाने और किसानों की फसलों को नियमित जल आपूर्ति सुनिश्चित करने के उद्देश्य से लिया गया है।

सरकारी आदेश के अनुसार, योजना के तहत अब उन सभी निर्माण कार्यों को पुनर्जीवित किया जाएगा जो लंबे समय से अधूरे या क्षतिग्रस्त पड़े थे। जल संसाधन विभाग ने बताया कि वर्तमान में परियोजना की रूपांकित सिंचाई क्षमता 3,323 हेक्टेयर है, लेकिन तकनीकी और संरचनात्मक खामियों के कारण केवल 1,870 हेक्टेयर भूमि को ही सिंचाई का लाभ मिल पा रहा था। नए मरम्मत कार्यों के पूरा हो जाने पर यह कमी पूरी हो जाएगी और पूरी रूपांकित क्षमता के तहत 3,323 हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई की सुविधा उपलब्ध हो सकेगी।

जल संसाधन विभाग मंत्रालय, महानदी भवन से जारी आदेश के अनुसार, परियोजना के सभी तकनीकी और निर्माण संबंधी कार्यों को हसदेव-गंगा कछार जल संसाधन विभाग, अंबिकापुर (Eeb Diversion Project Chhattisgarh) के मुख्य अभियंता के अधीन पूरा किया जाएगा। विभागीय अधिकारियों का कहना है कि परियोजना के अंतर्गत नहरों, जल निकासी तंत्र और संरचनाओं का पुनर्निर्माण किया जाएगा ताकि सिंचाई जल का समान वितरण सुनिश्चित हो सके।

इस योजना के कार्य पूर्ण हो जाने पर किसानों को खरीफ और रबी दोनों मौसमों में पर्याप्त सिंचाई सुविधा मिलेगी। इससे न केवल उत्पादन बढ़ेगा, बल्कि फसलों की गुणवत्ता में भी सुधार होगा। विभाग ने बताया कि इस योजना से प्रत्यक्ष रूप से सैकड़ों किसानों को लाभ होगा और क्षेत्र में कृषि आधारित अर्थव्यवस्था को नई मजबूती मिलेगी।

अधिकारियों ने कहा कि इस परियोजना से पानी के अपव्यय को कम करने और जल उपयोग दक्षता बढ़ाने पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। मरम्मत कार्यों में आधुनिक निर्माण तकनीकों का उपयोग किया जाएगा ताकि यह दीर्घकाल तक टिकाऊ रहे।

राज्य सरकार का मानना है कि ऐसी परियोजनाएं ग्रामीण विकास की रीढ़ साबित होंगी। जशपुर जिले का बड़ा हिस्सा वर्षा आधारित खेती पर निर्भर है, ऐसे में सिंचाई व्यवस्था का सशक्त होना किसानों के जीवन स्तर में बड़ा बदलाव ला सकता है। परियोजना के पूरा होने के बाद रबी फसलों की बोआई में भी किसानों को लाभ मिलेगा।

जल संसाधन विभाग ने कहा है कि कार्यों को चरणबद्ध तरीके से किया जाएगा और गुणवत्ता पर किसी तरह का समझौता नहीं किया जाएगा। निर्माण कार्यों की निगरानी विभागीय अभियंताओं द्वारा की जाएगी और प्रगति रिपोर्ट हर माह मंत्रालय को भेजी जाएगी। ईब व्यपवर्तन योजना के जीर्णोद्धार से न केवल सिंचाई व्यवस्था मजबूत होगी बल्कि यह क्षेत्र के जल संसाधनों के संतुलित और वैज्ञानिक उपयोग की दिशा में भी एक अहम कदम साबित होगा।