इसे कहते हैं दृढ़ संकल्प! 16 बार असफल हुए, फिर भी हार नहीं मानी; आज हैं असिस्टेंट कमांडेंट
-अभिनंदन यादव को बड़ी कामयाबी हासिल हुई है
गाजीपुर। Assistant Commandant Abhinandan Yadav: गाजीपुर जिले के खोजापुर गांव में जन्मे अभिनंदन यादव ने बड़ी कामयाबी हासिल की है। अभिनंदन की प्रारंभिक शिक्षा न्यू मॉडल चिल्ड्रेन स्कूल, खोजापुर में हुई। 10वीं तक पढ़ाई करने के बाद वह 12वीं के लिए कोटा चले गए। 2018 में, उन्होंने आईआईटी गुवाहाटी में दाखिला लिया और 2022 में स्नातक की पढ़ाई पूरी की।
सरकारी परीक्षाओं की तैयारी भी जारी रखी और 2017 से 2024 के बीच 16 बार एसएसबी लिखित परीक्षा पास की, लेकिन चिकित्सा मुद्दों और खराब संचार कौशल के कारण बार-बार साक्षात्कार में असफल रहे। लेकिन अभिनंदन ने हार नहीं मानी। कोशिश की इसी की बदौलत आज उन्हें यूपीएससी असिस्टेंट कमांडेंट परीक्षा में सफलता मिली है।
2022 में ग्रेजुएशन के बाद अभिनंदन को क्यूबस्टियन कंसल्टिंग प्राइवेट लिमिटेड, गुरुग्राम में नौकरी मिल गई। गांव में पढ़ाई के कारण उनकी अंग्रेजी कमजोर थी, इसलिए वे बार-बार इंटरव्यू में असफल होते थे। लेकिन प्राइवेट नौकरी में उन्होंने अपनी कम्युनिकेशन स्किल्स को बेहतर बनाया। दिन में 12 घंटे काम करने और रात में पढ़ाई करने के साथ-साथ वह आत्मनिर्भर बन गए और अपना खाना खुद बनाना सीख लिया। इस अनुभव से उनका आत्मविश्वास और भी बढ़ गया।
अभिनंदन यादव (Assistant Commandant Abhinandan Yadav) का कहना है कि उन्होंने कम से कम 16 बार एसएसबी (सर्विस सिलेक्शन बोर्ड) की परीक्षा दी होगी, लेकिन हर बार इंटरव्यू में बाहर हो गए। हर बार वह लिखित परीक्षा में उत्तीर्ण हुए। अंग्रेजी न बोल पाना असफलता का एक बड़ा कारण था। ग्रेजुएशन के बाद प्लेसमेंट मिलने पर एक निजी कंपनी में काम करते हुए उन्होंने अपनी अंग्रेजी सुधारी।
क्यूबस्टियन कंसल्टिंग में काम करने से मुझे आत्मविश्वास मिला। इसके बाद अभिनंदन ने यूपीएससी (2024) के तहत असिस्टेंट कमांडेंट परीक्षा पास की। इससे पहले वह एसएससी, सीजीएल के तहत ऑडिटर के रूप में भी काम कर रहे थे। उनकी यात्रा 16 असफलताओं के बावजूद अपने लक्ष्य के प्रति निरंतर प्रयास करने का प्रतीक है। जो हर युवा को प्रेरणा देता है कि कड़ी मेहनत और समर्पण से कोई भी लक्ष्य हासिल किया जा सकता है।