Rahul Gandhi Membership : राहुल गांधी की संसदीय सदस्यता जाने के बाद जर्मनी ने दी प्रतिक्रिया
नई दिल्ली/नवप्रदेश। Rahul Gandhi Membership : राहुल गांधी की लोकसभा की सदस्यता रद्द हो जाने के बाद देशभर में हुए बवाल के बाद इस मामले पर जर्मनी सरकार के विदेश प्रवक्ता ने बयान जारी किया है। जर्मनी सरकार के प्रवक्ता ने बयान जारी कर कहा कि विपक्षी नेता राहुल गांधी के खिलाफ की गई कोई भी कार्रवाई न्यायिक स्वतंत्रता के दायरे में है और साथ ही वह भारत के मौलिक अधिकारों को ध्यान में रखकर की गई होगी। इससे पहले अमेरिका भी राहुल गांधी के मामले में प्रतिक्रिया दे चुका है।
जर्मन प्रवक्ता ने क्या कहा
जर्मन के प्रवक्ता ने कहा कि जहां तक हमें पता है राहुल गांधी के पास मानहानि मामले में दोषी पाए जाने के बाद उच्च न्यायालय में अपील करने का मौका है। इसके साथ ही बोले कि उच्च न्यायालय में अपील के बाद ही साफतौर पर पता चल पाएगा कि यह फैसला किस आधार पर दिया गया और उनके निलंबन का क्या आधार है। जर्मनी के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने आगे कहा कि हम उम्मीद करते हैं कि राहुल गांधी के मामले में मौलिक सिद्धातों का पालन किया गया है। जर्मनी की तरफ से दी गई प्रतिक्रिया के बाद अभी भारत के विदेश मंत्रालय ने कोई टिप्पणी नहीं की है।
इससे पहले अमेरिका ने भी दी थी प्रतिक्रिया
इस बयान से पहले राहुल गांधी की संसदीय सदस्यता जाने पर अमेरिका ने भी प्रतिक्रिया दी थी। इस दौरान अमेरिकी विदेश विभाग के उप प्रवक्ता वेदांत पटेल ने कहा था कि राहुल गांधी के मामले पर हमारी नजर बनी हूई है। उन्होंने आगे कहा कि कानून के शासन और न्यायिक स्वतंत्रता के लिए सम्मान किसी भी लोकतंत्र की आधारशिला है।
राहुल गांधी की संसदीय सदस्यता छिन गई
23 मार्च को राहुल गांधी (Rahul Gandhi Membership) को कर्नाटक के कोलार में एक अभियान रैली में की गई उनकी टिप्पणी जिसमें उन्होंने कहा था कि सभी चोरों के सरनेम मोदी क्यों है, इसके बाद 2019 के मानहानि के मामले में दोषी पाया गया था। गुजरात के सेशन कोर्ट ने इस मामले में राहुल गांधी को दो साल की सजा सुनाई थी, लेकिन साथ ही उन्हें 30 दिन की जमानत भी दे दी गई थी।