तालाब भरने बन रही नाली बनी परेशानी का सबब
नाली निर्माण को साल भर से उपर हो चुका, लेकिन ठेकेदार के उदासीनता की वजह से काम मंथर गति से हो रहा है। पहले तो बजट का रोना था फिर बजट बढ़ा तो जैसे तैसे काम शुरू हुआ। अब काम अंतिम दौर में है। वर्तमान में शहर के हृदय स्थल में चौक के बीचों बीच गड्ढे कर नाली का निर्माण किया जा रहा है। इसके लिए सड़क में बेरिकेट्स लगाकर रोड ब्लाक किया गया है।
नवप्रदेश संवाददाता
जांजगीर। जिला मुख्यालय के ह्दय स्थल कचहरी चौक में नहर के पानी से भीमा तालाब भरने के लिए बनाई जा रही नाली इन दिनों शहरवासियों के लिए परेशानी का सबब बन चुका है। जब से नाली का निर्माण शुरू हुआ है तब से शहर के बीच से आवागमन जान जोखिम भरा हो चुका है। इन दिनों शहर के हृदय स्थल में नाली निर्माण का कार्य जोर-शोर से चल रहा है।
चौक के बीच से नाली गुजरने से शहर के बीच से आवागमन करने में लोगों को बेहद परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। दरअसल चौबीसों घंटे यहां काम होने से आधी सड़क को ब्लाक कर दिया गया है। जिससे गुजरना लोगों के लिए मुश्किलों भरा हो चुका है। ज्ञात तो कि सिंचाई विभाग द्वारा बीते साल भर से नहर के पानी से भीमा तालाब को भरने के लिए तकरीबन 50 लाख की लागत से नाली का निर्माण किया जा रहा है। नाली निर्माण को साल भर से उपर हो चुका, लेकिन ठेकेदार के उदासीनता की वजह से काम मंथर गति से हो रहा है। पहले तो बजट का रोना था फिर बजट बढ़ा तो जैसे तैसे काम शुरू हुआ। अब काम अंतिम दौर में है। वर्तमान में शहर के हृदय स्थल में चौक के बीचों बीच गड्ढे कर नाली का निर्माण किया जा रहा है। इसके लिए सड़क में बेरिकेट्स लगाकर रोड ब्लाक किया गया है। जिससे लोगों को आवागमन करने में परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
सड़क के चारों ओर गिट्टी, मिट्टी के मलबों के बीच लोगों को आवागमन करना पड़ रहा है। यहां से गुजरने मात्र से लोग धूल के गुबार से पट जा रहे हैं। जिसके चलते लोगों को कई तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
फुटकर व्यवसायी परेशान
शहर के बीच चौक में फुटपाथ में व्यवसायी फल, सब्जी, मनिहारी सहित अन्य दुकान संचालित करते हैं। नाली निर्माण का काम चलने से इनका कारोबार ठप है। यह काम बीते दो तीन दिनों से चलने से लोगों का लाखों का कारोबार प्रभावित हो रहा है। हालांकि नाली का निर्माण विकास के लिए हो रहा है, लेकिन मौजूदा समय में यह नाली निर्माण लोगों के लिए अच्छा खासा परेशानियों का सबब बन चुका है।