नई दिल्ली। Small savings scheme: छोटी बचत योजनाओं पर ब्याज दरों में की गई भारी कटौती के फैसले से पलटते हुए सरकार ने गुरुवार को कहा कि इन योजनाओं पर पहले की तरह ब्याज मिलता रहेगा।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने गुरुवार को इसको लेकर एक ट्वीट करते हुए कहा कि वर्ष 2020-21 की अंतिम तिमाही में छोटी बचत योजनाओं (Small savings scheme) पर जिन दरों से ब्याज मिल रही थी, वही ब्याज दरें वर्ष 2021- 22 की पहली तिमाही में भी जारी रहेगी।
उन्होंने कहा कि ब्याज दरों में कटौती को लेकर के जो आदेश जारी किए गए थे, उसे वापस नहीं लिया जा रहा है और इन पर पहले की तरह ब्याज मिलता रहेगा। वित्त मंत्रालय इन योजनाओं पर हर तिमाही ब्याज दरों की घोषणा करता है।
उल्लेखनीय है कि सरकार ने छोटी बचत योजनाओं (Small savings scheme) पर ब्याज दरों में आधी फीसदी से लेकर एक फीसदी तक की कटौती करने का निर्णय लिया था, जिससे पीपीएफ पर ब्याज दर 46 साल के निचले स्तर पर आ गया था। इस पर 46 साल में पहली बार ब्याज दर 7 फीसदी से नीचे 6.4 प्रतिशत पर आ गया था।
इसी तरह से राष्ट्रीय बचत प्रमाण पत्र पर भी ब्याज दर को 6.8 फीसदी से कम कर 5.9 फीसदी कर दिया गया था। इसके साथ ही सुकन्या समृद्धि योजना पर भी ब्याज दर को 7. 6 प्रतिशत से कम कर 6.9 प्रतिशत कर दिया गया था।
वरिष्ठ नागरिकों की बचत योजनाओं (Small savings scheme) पर भी ब्याज दरों को 7.4 प्रतिशत से घटाकर 6.5 प्रतिशत कर दिया गया था। किसान विकास पत्र पर भी ब्याज दर को 6.9 फीसदी से घटाकर 6.2 प्रतिशत कर दिया गया था। डाकघर बचत योजना पर ब्याज दर को चार प्रतिशत से कम कर 3.5 प्रतिशत कर दिया गया था।