नई दिल्ली। mukesh ambani: ग्रोसरी, एड-टेक, म्यूजिक, ई-फार्मेसी, पेमेंट्स, फैशन और फर्नीचर के बाद अब मुकेश अंबानी की नजर क्विक सर्विस रेस्टोरेंट (क्यूएसआर) कारोबार पर है। सूत्रों के मुताबिक मुकेश अंबानी के नेतृत्व वाली देश की सबसे अमीर कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज दुनिया की सबसे बड़ी सिंगल ब्रांड रेस्टोरेंट चेन सबवे इंक की भारतीय फ्रेंचाइजी खरीदने के लिए बातचीत कर रही है। लेन-देन 1,488 से 1,860 करोड़ रुपये तक हो सकता है।
सैंडविच कंपनी सबवे इंक का मुख्यालय कनेक्टिकट, यूएसए में है। कंपनी भारत में कई क्षेत्रीय मास्टर फ्रैंचाइजी के माध्यम से कारोबार करती है। यह कंपनी पूरी दुनिया में रिस्ट्रक्चरिंग कर रही है। कंपनियों ने अभी तक इस मामले पर कोई टिप्पणी नहीं की है।
टाटा समूह से सीधी टक्कर
अगर बातचीत सफल होती है, तो रिलायंस इंडस्ट्रीज की खुदरा इकाई को भारत में लगभग 600 सबवे स्टोर मिल जाएंगे और उसे अपना कारोबार बढ़ाने में मदद मिलेगी। रिलायंस रिटेल के क्यूएसआर बाजार में प्रवेश के साथ उनका सामना डोमिनोज पिज्जा, बर्गर किंग, पिज्जा हट और स्टारबक्स के साथ-साथ उनके स्थानीय साझेदार टाटा समूह और जुबिलेंट गु्रप से होगा। मिली जानकारी के मुताबिक प्राइवेट इक्विटी फर्म भी सबवे के लोकल फ्रैंचाइजी ऑपरेशंस को खरीदने की कोशिश कर रही हैं।
2017 में कई भारतीय सबवे फ्रेंचाइजी ने एक मंच बनाने की कोशिश करने के लिए हाथ मिलाया था। उन्होंने टीए एसोसिएट्स और क्रिस कैपिटल जैसे वित्तीय निवेशकों के साथ चर्चा की। हालांकि यह चर्चा किसी नतीजे पर नहीं पहुंच पाई। सबवे सिंगल पार्टनर के जरिए भारत में अपने कारोबार का विस्तार करना चाहता है। वर्तमान में कंपनी मास्टर फ्रैंचाइजी को काम पर रखती है जो सीधे या उप-फ्रैंचाइजी के माध्यम से स्टोर चलाते हैं।
किस का कितना हिस्सा है –
इसमें डाबर के प्रमोटर अमित बर्मन का लाइट बाइट फूड्स भी शामिल है। सबवे का स्वामित्व डॉक्टर्स एसोसिएट्स के पास है। कंपनी प्रत्येक फ्रेंचाइजी से 8 प्रतिशत राजस्व एकत्र करती है। भारत के 18,800 करोड़ रुपये के समेकित QSR में इसकी 6 प्रतिशत हिस्सेदारी है। डोमिनोज 21 फीसदी शेयर के साथ मार्केट लीडर है। मैकडॉनल्ड्स 11 प्रतिशत के साथ दूसरे स्थान पर है।