-युद्ध लंबे समय तक जारी रहा तो इसका असर कई देशों पर पड़ेगा
नई दिल्ली। Indian telecom companies lost: इजरायल और फिलिस्तीनी आतंकवादी संगठन हमास के बीच युद्ध में भारत को 2,500 करोड़ रुपये का नुकसान हो सकता है। इस टकराव के कारण आयातित 5प्रतिशत नेटवर्क गियर की लागत 2,000 से 2,500 करोड़ रुपये तक बढऩे की संभावना है। साथ ही टेलीकॉम कंपनियों के 5प्रतिशत रोलआउट प्लान में भी देरी हो सकती है।
फिलहाल यह सेवा देश के कुछ ही शहरों में शुरू की गई है। अगर इजरायल और हमास के बीच युद्ध लंबे समय तक जारी रहा तो डॉलर के मुकाबले रुपये की कीमत तीन से चार फीसदी तक गिरने की संभावना है। इससे टेलीकॉम कंपनियों की विदेशी कर्ज चुकाने की लागत भी बढ़ेगी और आने वाली तिमाहियों में उनके मुनाफे पर असर पड़ सकता है।
विशेषज्ञों के मुताबिक, स्थानीय फोन नेटवर्क में इस्तेमाल होने वाला करीब 67 फीसदी टेलीकॉम गियर विदेश से आयात किया जाता है। एरिक्सन, नोकिया और सैमसंग जैसी कंपनियां इनकी आपूर्ति करती हैं। रिलायंस जियो, भारती एयरटेल और वोडाफोन आइडिया हर साल सात अरब डॉलर यानी 58,000 करोड़ रुपये का टेलीकॉम गियर आयात करते हैं।
जीयो ने हाल ही में नेटवर्क गियर खरीदने के लिए 4 बिलियन डॉलर का विदेशी ऋण जुटाया है, जबकि एयरटेल 5प्रतिशत रोलआउट पर सालाना लगभग 3.5 बिलियन डॉलर खर्च कर रहा है। घरेलू नेटवर्क में उपयोग किए जाने वाले दो-तिहाई गियर अभी भी आयात किए जाते हैं।