रायपुर/नवप्रदेश। Internet Facility : राज्य के बस्तर संभाग के नक्सल प्रभावित इलाकों में भी अब तेजी से संचार नेटवर्क की सुविधा विस्तारित होने लगी है। शासन द्वारा वनांचल के दुर्गम, पहुंच विहीन, संवेदनशील स्थानों पर सार्वभौमिक सेवा दायित्व निधि के माध्यम से संचार सेवा को दुरुस्त एवं विस्तारित किया जा रहा है। जहां नेटवर्क नहीं है, वहां नए मोबाइल टावर लगाए जा रहे हैं। मोबाइल नेटवर्क को अपग्रेड करने का भी काम किया जा रहा है। जिससे कोई भी व्यक्ति इंटरनेट सुविधा से अछूता न रह सके।
नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में फैलता संचार नेटवर्क
वर्तमान में संचार माध्यम की आवश्यकता हर किसी को है। मोबाइल और इंटरनेट आज लोगों के जीवन का अहम हिस्सा बन चुका है। सुकमा जिले मेें प्रशासन द्वारा संचार सुविधाओं के विस्तार और सुदृढ़ीकरण का काम तेजी से कराया जा रहा है। सुकमा में कई ऐसे क्षेत्र हैं, जहां वर्षों से मोबाइल नेटवर्क (Internet Facility) नहीं था।
जिससे यहां रहने वाले ग्रामीणजन देश-दुनिया की तरक्की से अनजान थे। उन्हें मोबाइल फोन स्मार्टफोन के बारे में पता ही नहीं था। ऑनलाइन लेन-देन तो दूर की बात है। नई पीढ़ी के युवाओं का वास्ता स्मार्ट फोन से तो रहा, पर अच्छे नेटवर्क और सिगनल के अभाव में वह इंटरनेट की दुनिया से परिचित नही रहे।
आज परिस्थितियां बदल रही है। शासन के निर्देश पर सार्वभौमिक सेवा दायित्व निधि द्वारा जिले में संचार व्यवस्था को बेहतर करने के लिए जिले के ऐसे क्षेत्र जहां किसी भी नेटवर्क की पंहुच नही है, उनका सर्वे कार्य कर वहां मोबाइल टावर स्थापित किए जा रहे हैं। पिछले एक माह के भीतर ही जिले में चार स्थानों पर मोबाइल टावर स्थापित किए गए हैं। जिसमेें तीन टावर जिले के संवेदनशील क्षेत्रों में लगे हैं। कोण्टा विकासखण्ड के मिनपा एवं एल्मागुण्डा में मोबाइल टॉवर स्थापित किए गए हैं।
मोबाइल टावर लगने से ग्रामीणों में उत्साह
सुकमा जिले के छिन्दगढ़ विकासखण्ड के कुमाकोलेंग में मोबाइल टॉवर स्थापित होने से ग्रामीणों में उत्साह है। वहीं सुकमा विकासखण्ड के गीदमनाला में मोबाइल टॉवर लगने से सूचनाओं के आदान-प्रदान अब सहज हो गया है। ग्रामीण जनों में उत्साह देखने को मिल रहा है।
उनका कहना है कि पहले अपनों से बात करने के लिए, एंबुलेंस बुलाने या आपातकालीन स्थिति में कई बार पहाड़ों पर चढ़ना पड़ता था या कई किलोमीटर सफर करना पड़ता था तब बड़ी मुश्किल से बात हो पाती थी। मोबाइल टावर लगाए जाने से उन्हें सुविधा हुई है।
जिले में संचार व्यवस्था के विस्तार के लिए नो नेटवर्क क्षेत्रों का सर्वे कार्य किया जा रहा है। जिसमें सार्वभौमिक सेवा दायित्व निधि द्वारा प्रथम चरण में 42 मोबाइल टॉवर लगाएं (Internet Facility) जा रहे है।