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Ayurveda Diet Tips: आयुर्वेद क्यों देता है भोजन के साथ फल न खाने की सलाह!

Ayurveda Diet Tips: Why Ayurveda advises not to eat fruits with food!

Ayurveda Diet Tips

नई दिल्ली। Ayurveda Diet Tips: अच्छी सेहत के लिए डाइट संतुलित होनी चाहिए। जिसमें मौसमी सब्ज़ियां, फल, प्रोटीन आदि शामिल होना चाहिए। जैसे आप सब्ज़ियों को दिन में तीन बार डाइट में शामिल करते हैं, ठीक उसी तरह फलों को शामिल करना भी ज़रूरी है। कच्चे फलों की दो सर्विंग आपके शरीर को ज़रूरी पोषण देते हैं। साथ ही आपकी वज़न घटाने, स्नैक्स न खाने और हाइड्रेट रहने में मदद करती है। लेकिन अगर आप चाहते हैं कि फल खाकर आपको फायदा पहुंचे, तो इसके लिए इन्हें सही समय और सही चीज़ के साथ खाने की ज़रूरत होती है।

आयुर्वेद के मुताबिक, खाने की हर चीज़ को खाने का एक तरीका होता है और सही समय भी होता है। खाने की कुछ चीज़ों को डेयरी, सब्ज़ियों या मीट के साथ खाना कई बार नुकसान पहुंचाता है।

फलों को अन्य चीजों के साथ क्यों नहीं खाना चाहिए?

किसी भी अन्य भोजन की तुलना में फल जल्दी पच जाते हैं। इसे (Ayurveda Diet Tips) किसी भी अन्य खाद्य पदार्थ के साथ मिलाने से शरीर में विषाक्त पदार्थों का निर्माण हो सकता है, जिसे ‘अमा’ (Ama) के नाम से जाना जाता है। ऐसा इसलिए है क्योंकि कुछ चीज़ों को साथ में खाने से पाचन प्रक्रिया कम हो सकती है। फलों को पेट में तब तक रहना पड़ता है जब तक कि सबसे भारी भोजन न पच जाए, जिससे शरीर के लिए पोषक तत्वों को अवशोषित करना मुश्किल हो जाता है। इसके अलावा, फलों को दूध और दही जैसे डेयरी प्रोडक्ट्स के साथ खाने से एक्ने, सोरोसिस और एक्ज़ेमी जैसे त्वचा से जुड़े रोग हो सकते हैं।

फलों को कभी पकाना नहीं चाहिए?

फल का रंग आमतौर पर ब्राइट होता है। फलों का चमकता हुआ रंग आग से जुड़ी ऊर्जा का प्रतिनिधित्व करता है। जब इन्हें कच्चा खाया जाता है, तो फल पाचन अग्नि को उत्तेजित करने, आपके पाचन स्वास्थ्य को बढ़ाने और पेट को मज़बूत बनाने में मदद करते हैं। खाना पकाने से पाचन अग्नि और स्वस्थ पोषक तत्वों की हानि होती है। पके हुए फल खाने से किसी तरह के फायदे नहीं होते।

फल खाने का सही समय

आयुर्वेद के मुताबिक, फलों को खाने का सही समय सुबह का है। फलों को खाली पेट सुबह खाएं। यह वो वक्त होता है जब आपका पेट फलों से सबसे ज़्यादा पोषण अवशोषित कर पाता है।

दिन में किस वक्त खा सकते हैं फल

भूख को कम करने के लिए इसे अपने भोजन के बीच में नाश्ते के रूप में भी ले सकते हैं। भोजन के बीच फल खाने से आपको ज़रूरी विटामिन और खनिज मिल सकते हैं और आप अस्वस्थ स्नैक्स खाने से बच सकते हैं। सुबह 11 बजे से शाम 4 बजे तक फल खाना सही है।

सूरज ढलने से पहले क्यों खाने चाहिए फल?

शाम को फल खाने से नींद और पाचन क्रिया में गड़बड़ी हो सकती है। इसलिए, आयुर्वेद (Ayurveda Diet Tips) शाम 4 बजे से पहले या सूर्यास्त से पहले फल खाने की सलाह देता है। फल सरल कार्ब्स होते हैं जिसका अर्थ है कि वे जल्दी से टूट सकते हैं, रक्त शर्करा के स्तर को तुरंत बढ़ा सकते हैं और फौरन ऊर्जा प्रदान कर सकते हैं। सोने के समय रक्त शर्करा का स्तर बढ़ने से आपकी नींद बाधित हो सकती है। इसके अलावा, सूर्यास्त के बाद, हमारा चयापचय धीमा हो जाता है और पाचन तंत्र को कार्ब्स को पचाने में मुश्किल आती है। इसलिए बेहतर यही है कि शाम के समय कार्ब्स कम से कम लें।

Disclaimer: लेख में उल्लिखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो तो हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह लें।

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