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UPSC Result 2022: प्रतियोगी परीक्षा हो या बोर्ड परीक्षा, लड़कियां हमेशा टॉपर क्यों होती हैं ? स्टडी में हुआ चौंकाने वाला खुलासा

UPSC Result 2022: Be it competitive exam or board exam, why girls are always toppers? Shocking revelation in the study,

मुंबई। UPSC Result 2022: यूपीएससी 2022 का परीक्षा परिणाम हाल ही में घोषित किया गया है। हर साल की तरह इस साल भी टॉप टेन कैंडिडेट्स की लिस्ट में छह लड़कियां हैं। इतना ही नहीं पहले तीन टॉपर सभी लड़कियां हैं। बोर्ड परीक्षा हो या कोई प्रतियोगी परीक्षा, ऐसी परीक्षाओं में ज्यादातर लड़कियां ही अव्वल आती हैं। लेकिन क्यों? लड़कियां हमेशा बेहतर क्यों होती हैं? कभी सोचा? लड़कियों की तुलना में ज्यादातर लड़कों में कमी कहाँ होती है? आर्थिक सहयोग और विकास संगठन ने इस संबंध में एक अध्ययन किया। इस स्टडी से जो निकला वह वाकई हैरान करने वाला था।

एक सर्वे के मुताबिक लड़कियों को पढऩे में ज्यादा दिलचस्पी होती है जबकि कई लड़कों को पढऩा बिल्कुल पसंद नहीं होता। इसलिए लड़कियों को लड़कों की तुलना में कम ज्ञान होता है। साथ ही इस सर्वे के मुताबिक आधी से ज्यादा लड़कियां दिन में कम से कम आधा घंटा पढ़ती हैं। इसके विपरीत, एक तिहाई से भी कम बच्चे पढऩे में इतना समय लगाते हैं।

अध्ययन और परीक्षणों में उत्कृष्ट

कनाडा में न्यू ब्रंसविक विश्वविद्यालय के मनोवैज्ञानिक डैनियल वोयर और सुसान वोयर ने कई अलग-अलग प्रकाशित अध्ययनों से डेटा का एक मेटा-विश्लेषण किया और निष्कर्ष निकाला कि लड़कियां स्कूल की कक्षाओं में ध्यान केंद्रित करने में सक्षम हैं और इसलिए अध्ययन और परीक्षणों में उत्कृष्ट हैं। दूसरी ओर, बच्चे परीक्षा में इसलिए असफल हो जाते हैं क्योंकि वे अधिक ध्यान केंद्रित नहीं कर पाते हैं।

बुरी आदतें और तनाव

शोधकर्ताओं ने यह भी पाया कि बच्चे अपना खाली समय आभासी दुनिया में बिताते हैं। लड़कियों की तुलना में उनके रोजाना ऑनलाइन गेम खेलने की संभावना 17 प्रतिशत अधिक है। वे इंटरनेट का भरपूर इस्तेमाल करते हैं। साथ ही उन्हें अपने परिवार से प्रोत्साहन भी कम मिलता है। इसके विपरीत लड़कियां अपने परिवार के साथ अधिक समय बिताती हैं। लड़कियों के कम अंक आने पर उनके परिवार वाले उन्हें अच्छे अंक लाने के लिए प्रोत्साहित करते हैं।

वैज्ञानिकों का कहना है कि आमतौर पर इसी वजह से लड़कियां बेहतर होती हैं। इस शोध में और इस खबर से लड़के या लड़कियों में भेदभाव करने का बिल्कुल इरादा नहीं है। लेकिन अगर आप ठीक से पढ़ाई करें और अपनी योग्यता के अनुसार पढ़ाई करें तो कोई भी कम नहीं है।

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