पटना, नवप्रदेश। बिहार की नीतिश कुमार सरकार ने अपने कैबिनेट के मंत्रियों को बड़ी सौगात दी है। राज्य सरकार ने विधायकों, विधान पार्षदों के साथ ही विधानमंडल मुख्य सचेतक, उप मुख्य सचेतक व सचेतक के वेतन-भत्ते में वृद्धि के बाद अब राज्य सरकार के मंत्रियों के वेतन भत्ते में वृद्धि का प्रस्ताव स्वीकृत किया (Salary Allowance Hike) है।
सीएम नीतिश कुमार की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई कैबिनेट बैठक में बिहार के मंत्रियों के वेतन भत्ता पेंशन नियमावली में संशोधन को मंजूरी दे दी गई है। इस फैसले के बाद मुख्यमंत्री समेत राज्य के सभी 31 मंत्रियों के वेतन-भत्ता प्रति माह 30 से 35 हजार रुपये बढ़ जाएंगे। ऐसे में इन्हें अब प्रति माह पौने तीन लाख तक रुपए (Salary Allowance Hike) मिलेंगे।
सुत्रों की मानें तो राज्य के मंत्रियों के वेतन-भत्ते में वृद्धि का प्रस्ताव पिछले काफी समय से लंबित था, जिस पर मंगलवार को हुई बैठक में विमर्श करने के बाद इसे स्वीकृति दे दी गई। मंत्रियों के वेतन-भत्ते में करीब 30-35 हजार रुपये की मासिक वृद्धि की गई है।
इस वृद्धि के बाद मंत्रियों का मासिक वेतन-भत्ता मिलाकर करीब 2.65 लाख हो जाएगा। 7000 नए पदों पर शिक्षकों के नियुक्ति और छात्राओं को स्कॉलरशिप समेत कैबिनेट बैठक में कुल 35 एजेंडों को स्वीकृति दी (Salary Allowance Hike) गयी।
मध्य प्रदेश के विधायकों का स्वेच्छानुदान बढ़ाने के बाद अब 7 सालों बाद उनके वेतन-भत्ते में भी वृद्धि की जा सकती है। खबर है कि मप्र विधानसभा अध्यक्ष, नेता प्रतिपक्ष और मुख्यमंत्री की बैठक प्रस्तावित है,
जिसमें इस पर अंतिम निर्णय लिया जा सकता है, इसको लेकर मुख्यमंत्री कार्यालय ने तैयारियां भी शुरू कर दी है। वर्तमान में प्रदेश में विधायकों को 1लाख 10 हजार रुपये प्रतिमाह वेतन-भत्ता मिलता है।वही भूतपूर्व विधायकों की पेंशन सहित अन्य सुविधाओं में भी वृद्धि प्रस्तावित है।
विधानसभा के पूर्व अध्यक्षों को छत्तीसगढ़ की तरह पूर्व मुख्यमंत्रियों को दी जाने वाली सुविधा दिया जाना प्रस्तावित हैं।यदि सहमति बनती है तो पूर्व अध्यक्षों को कैबिनेट मंत्री की तरह सुविधाएं मिलने लगेगी।
हाल ही में छत्तीसगढ़ की भूपेश बघेल सरकार ने पूर्व विधायकोें के पेंशन और भत्तों में वृद्धि की घोषणा की है, इसके तहत पूर्व विधायकों को अब 35,000 की जगह 58,300 रुपये पेंशन मिलेगी। इस संबंध में सोमवार संसदीय कार्यमंत्री रविंद्र चौबे ने विधानसभा मेें छत्त्तीसगढ़ विधानसभा सदस्य वेतन, भत्त्ते और पेेंशन संशोधन विधेयक 2023 पेश किया था, सदन में चर्चा के बाद इसे पास कर दिया जाएगा।
पूर्व विधायक क्रमश: 10 हजार रुपये और 15 हजार रुपये का टेलीफोन भत्ता और अर्दली भत्ता पाने के हकदार होंगे।इसके तहत पूर्व विधायक सदस्यता के अपने पहले कार्यकाल (5 साल से अधिक कार्यकाल) के बाद हर 1 वर्ष के लिए प्रति माह 1000 की अतिरिक्त पेंशन पाने का भी हकदार होगा।
प्रत्येक मौजूदा सदस्य रेलवे/हवाई यात्रा के लिए मौजूदा 8 लाख रुपये प्रति वर्ष के बजाय 10 लाख रुपये प्रति वर्ष का भत्ता पाने का हकदार होगा। वहीं पूर्व विधायकों के लिए यह भत्ता 4 लाख रुपये प्रति वर्ष से बढ़ाकर 5 लाख रुपये प्रति वर्ष किया जाएगा। बीते दिनों दिल्ली की केजरीवाल सरकार ने भी विधायकों के वेतन में 66 फीसदी और मंत्रियों के वेतन में 136 फीसदी की वृद्धि की है,
जिसके बाद विधायकों का वेतन 54,000 रुपये से 66.66 फीसदी बढ़ाकर 90,000 रुपये कर किया गया है, वही मंत्रियों को अब तक 72,000 रुपये मिला करते थे, जिसमें 136.11 फीसदी की बढ़ोतरी कर वेतन को 1,70,000 रुपये कर दिया गया है। वही मुख्यमंत्री, विधानसभा अध्यक्ष व उपाध्यक्ष, मुख्य सचेतक और नेता प्रतिपक्ष का वेतन एवं भत्ता भी बढ़ा है।