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अमेरिकी कूटनीति पर एस जयशंकर का हमला, यूएस के बयानों का जोरदार दिया जवाब

S Jaishankar attack on American diplomacy, strongly responded to US statements,

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नई दिल्ली। s jaishankar: यूएस एनएसए और उसके मंत्रियों ने कुछ दिन पहले भारत का दौरा किया था। यहां उसने सिर्फ रूस से भारत को धमकाया। भारतीय विदेश मंत्री एस जयशंकर ने अमेरिका को सीधा जवाब दिया। नेटिज़न्स ऐसा करने वाले पहले व्यक्ति होने का दावा कर रहे हैं। भारत ने खरीदा रूस का एस-400 मिसाइल सिस्टम रूस-भारत की दोस्ती के 75 साल पूरे यूक्रेन युद्ध के दौरान अमेरिका बार-बार भारत पर प्रतिबंध लगाने की धमकी दे चुका है।

जयशंकर ने अमेरिकी विदेश मंत्री से कहा है, हमें परवाह नहीं है, आप जो चाहें करें। भारत अपनी सुरक्षा के लिए हर संभव प्रयास करेगा, चाहे कोई भी प्रतिबंध क्यों न हो। संयुक्त राज्य अमेरिका ने कास्टसा अधिनियम बनाया है, यदि वे खुशाल देशों पर प्रतिबंध लगाना चाहते हैं। जयशंकर ने कहा भारत अपनी रक्षा के हित में फैसला लेगा। एस जयशंकर इन दिनों अमेरिका के दौरे पर हैं। जब से भारत ने रूस के साथ एस-400 डील साइन की है, अमेरिका भारत पर प्रतिबंध लगाने की धमकी देता रहा है।

जब यह व्यवस्था भारत में आई तब भी अमेरिका में उथल-पुथल मची हुई थी। लेकिन प्रतिबंध नहीं लगाए गए। अब अमेरिकी विदेश मंत्री और एनएसए, भारत आए हैं और इस मुद्दे को फिर से उठाया है। इसके बाद जयशंकर ने रूस के तेल के मुद्दे पर अमेरिका की खिंचाई की। जयशंकर ने अमेरिकी रक्षा मंत्री ऑस्टिन लॉयड और विदेश मंत्री एंथनी ब्लिंकन के साथ एक संयुक्त संवाददाता सम्मेलन के दौरान अमेरिकी वार्ता को बंद कर दिया।

उन्होंने कहा कि अमेरिका को रूस के तेल पर भारत पर उंगली उठाने के बजाय यूरोप पर ध्यान देना चाहिए। यदि आप हमारे द्वारा रूस से कच्चा तेल खरीदने को लेकर चिंतित हैं, तो मैं आपको यूरोप पर ध्यान देने की सलाह दूंगा। भारत रूस से बहुत कम तेल आयात करता है। जयशंकर ने कहा यूरोप एक महीने में रूस से जितना तेल खरीदता है, उससे कहीं अधिक तेल खरीदता है।

ब्लिंकन ने भारत के मानवाधिकार रिकॉर्ड पर सवाल उठाए थे। इस पर जयशंकर ने कहा कि जिस तरह आपको हम पर बोलने का अधिकार है, उसी तरह हमें भी आप पर बोलने का अधिकार है। जयशंकर ने चेतावनी दी हम अपने सम्मान पर आच नहीं आने देंगे। संयुक्त राज्य में भी मानवाधिकारों का उल्लंघन किया जा रहा है। इससे भारतीय नेटिज़न्स नाराज़ हैं। नेटिज़न्स कह रहे हैं कि यह पहली बार है जब किसी भारतीय मंत्री ने भारत विरोधी अमेरिका को नारा दिया है। कुछ ने तो यहां तक कह दिया कि मोदी ने जयशंकर को खुली छूट दे दी।

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