रायपुर/नवप्रदेश। राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना (Nyay Yojna) के अतर्गत हितग्राहियों का पंजीयन आगामी 1 सितम्बर से 30 नवम्बर तक किया जाएगा। योजना से लाभ प्राप्त करने हेतु इच्छुक ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर परिवारों के मुखिया को राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना के पोर्टल rggbkmny.cg.nic.in में पंजीयन कराना होगा। योजना अतर्गत अंतिम रूप से चिन्हांकित हितग्राही परिवार के मुखिया को 6 हजार रूपये की अनुदान सहायता राशि प्रति वर्ष दी जाएगी।
जिला कलेक्टर ने बताया कि प्रत्येक ग्राम पंचायत में भुईयां रिकॉर्ड के आधार पर नामवार बी-1 तथा खसरा की प्रतिलिपि चस्पा की जाएगी, जिससे भू-धारी परिवारों की पहचान स्पष्ट हो सके तथा भूमिहीन परिवारों को आवेदन भरने में सुविधा प्राप्त हो सके। छत्तीसगढ राज्य में ग्रामीण आबादी का एक बड़ा हिस्सा कृषि मजदूरी (Nyay Yojna) पर निर्भर है। छत्तीसगढ़ राज्य में खरीफ सत्र में ही कृषि मजदूरी के लिए पर्याप्त अवसर रहता है। रबी सत्र में फसल क्षेत्राच्छादन कम होने के कारण कृषि मजदूरी के लिए अवसर भी कम हो जाता है। कृषि मजदूरी कार्य में सलग्न ग्रामीणों में अधिकतर लघु, सीमांत अथवा भूमिहीन कृषक हैं। इसमें से भूमिहीन कृषि मजदूर को अन्य की अपेक्षा रोजगार के कम अवसर ग्राम स्तर पर उपलब्ध होते हैं। राज्य शासन द्वारा ऐसे वर्ग को संबल प्रदाय करने की दृष्टि से राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना वित्तीय वर्ष 2021-22 से प्रारंभ किया जा रहा है।
हितग्राही परिवार की पात्रता 1 अपै्रल 2021 की स्थिति में निर्धारित की गई है। योजना अंतर्गत पात्रता केवल छत्तीसगढ़ के मूल निवासियों को होगी। ग्रामीण क्षेत्र में ऐसे सभी मूल निवासी भूमिहीन कृषि मजदूर परिवार इस योजना का लाभ प्राप्त करने हेतु पात्र होंगे, जिस परिवार के पास कृषि भूमि नहीं है। पट्टे पर प्राप्त शासकीय भूमि यथा-वन अधिकार प्रमाण पत्र को कृषि भूमि माना जाएगा। ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर परिवारों के अंतर्गत चरवाहा, बढई., लोहार, मोची. नाई, धोबी, पुरोहित जैसे-पौनी-पसारी व्यवस्था से जुड़े परिवार, वनोपज संग्राहक तथा शासन द्वारा समय-समय पर नियत अन्य वर्ग भी पात्र होंगे, यदि उस परिवार के पास कृषि भूमि नहीं है।
जिला स्तर पर योजना (Nyay Yojna) के सफल क्रियान्वयन एवं निगरानी तथा शिकायतों के निराकरण हेतु जिला कलेक्टर की अध्यक्षता में जिला स्तरीय अनुश्रवण समिति का गठन किया गया है। इसमें मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जिला पंचायत, सदस्य – सचिव, प्रभारी अधिकारी, भू-अभिलेख, उप संचालक, कृषि, जिला श्रम अधिकारी, लीड बैंक अधिकारी और जिला सूचना अधिकारी एनआईसी सदस्य बनाये गये है।