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Rathyatra : महाप्रभु जगन्नाथ होंगे बलभद्र और सुभद्रा संग रथारूढ़,देंगे भक्तों को दर्शन

Rathyatra: Mahaprabhu Jagannath will be accompanied by Balabhadra and Subhadra, will give darshan to the devotees

Rathyatra


राज्यपाल, मुख्यमंत्री और विधानसभा अध्यक्ष ने दी प्रदेशवासियों को रथयात्रा की बधाई

रायपुर/नवप्रदेश। Rathyatra:महाप्रभु जगन्नाथ जी की रथयात्रा का हिंदू धर्म में बहुत अधिक महत्व होता है। हिंदू पंचांग के अनुसार हर साल आषाढ़ माह में शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि को जगन्नाथ रथ यात्रा निकाली जाती है। इस वर्ष 12 जुलाई, सोमवार को महाप्रभु जगन्नाथ स्वास्थ्य लाभ कर अपने भाई बलभद्र और बहन सुभद्रा के साथ रथ में सवार होंगे और अपने मौसी के घर गुंडेचा मंदिर में जाकर 9 दिन विराजेंगे।

रथयात्रा (Rathyatra) का विशेष आयोजन उड़ीसा के पुरी स्थित जगन्नाथ धाम मंदिर में विशेष रूप से होती है। पुरी रथयात्रा को देखने यूँ तो लाखों की संख्या में भक्तगण पुरी पहुँचते हैं। भगवान जगन्नाथ के दर्शन के लिए विदेशों से भी उनके भक्त आते हैं। लेकिन बीते वर्ष की तरह इस वर्ष भी कोरोना संकटकाल को देखफते हुए पुरी धाम में इस बार भी महाप्रभु जगन्नाथ जी की रथ यात्रा में भक्तों कोशामिल होने का अवसर नहीं मिल पाएगा। रथ उत्सव कोविड-19 संबंधी प्रोटोकॉल के सख्त अनुपालन के बीच केवल पुरी में आयोजित होगा। केवल चयनित कोविड निगेटिव और टीके की दोनों खुराकें ले चुके सेवकों को ही रथ यात्रा कार्यक्रमों में हिस्सा लेने की अनुमति दी गई है। पिछले वर्ष के कार्यक्रम के दौरान लगाई गई सभी पाबंदियां इस बार भी लागू रहेंगी।

छेरा-पहरा रस्म इस बार भी स्थगित

बीते वर्ष की तरह इस बार भी कोरोना संक्रमण को देखते हुए रायपूर में भी रथयात्रा (Rathyatra) वृहद स्तर पर नहीं निकाली जाएगी। प्रतिवर्ष राज्य के मुखिया राज्यपाल और मुख्यमंत्री के द्वारा रथ यात्रा के दिन छेरा-पहरा रस्म अदायगी की जाती है। लेकिन इस बार ये रस्म नहीं निभाई जाएगी। राज्यपाल और मुख्यमंत्री वर्चुअल रूप से रथयात्रा में शामिल होंगे। केवल 50 भक्तों को ही मंदिर प्रवेश की अनुमति दी गई है। भगवान जगन्नाथ अपने मंदिर में ही भ्रमण कर निचे स्थित गुंडेचा मंदिर में विराजित होंगे।

राज्यपाल उइके ने दी रथयात्रा की बधाई

राज्यपाल अनुसुईया उइके ने भगवान श्री जगन्नाथ जी की रथयात्रा पर्व के अवसर पर प्रदेशवासियों को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं दी हैं। उन्होंने अपने संदेश में कहा है कि रथयात्रा (Rathyatra) हमारी आस्था एवं संस्कृति से जुड़ा पर्व है। ऐसे त्योहार हम सबको एक सूत्र में बंधने का अवसर देते हैं और आपसी सौहार्द्र बढ़ाते हैं। राज्यपाल ने इस अवसर पर सभी नागरिकों की खुशहाली की कामना की है।

मुख्यमंत्री ने प्रदेशवासियों को बधाई

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रदेशवासियों को रथयात्रा (Rathyatra) की बधाई और शुभकामनाएं दी है। उन्होंने इस अवसर पर भगवान जगन्नाथ से सभी नागरिकों की सुख, समृद्धि और खुशहाली की प्रार्थना की है। सीएम बघेल ने अपने बधाई संदेश में कहा है कि प्राचीन काल से ही छत्तीसगढ़वासियों की भगवान जगन्नाथ में गहरी आस्था रही है। यहां प्रतिवर्ष भक्ति भाव से श्रद्धालुओं द्वारा भगवान जगन्नाथ, उनके भाई बलभद्र और बहन देवी सुभद्रा के साथ रथयात्रा निकाली जाती रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि महाप्रभु जगन्नाथ के धाम पुरी सहित संपूर्ण भारत में एक साथ निकलने वाली यह रथयात्रा सांस्कृतिक एकता तथा सौहार्द्र का प्रतीक है।

मुख्यमंत्री बघेल ने प्रदेशवासियों से अपील करते हुए कहा है कि प्रदेश में कोरोना का प्रभाव कम हुआ है, लेकिन अभी खतरा टला नहीं हैं इसलिए सभी लोग जागरूकता और सुरक्षा बनाए रखें। मास्क, फिजिकल डिस्टेंसिंग जैसे कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए जारी दिशा-निर्देशों का पालन करें।

स्पीकर डॉ.महंत ने दी रथयात्रा की शुभकामनाएं

छत्तीसगढ़ विधानसभा अध्यक्ष डॉ चरणदास महंत ने भगवान जगन्नाथ की रथयात्रा (Rathyatra) पर प्रदेशवासियों को बधाई एवं शुभकामनाएं दी है। डॉ महंत ने कहा कि, छत्तीसगढ का यह सौभाग्य है कि भगवान जगगन्नाथ जी जीवंत स्वरूप इतिहास आज भी विद्द्यमान और जीवित है, उनके आशीर्वाद से ही छग राज्य की उन्नति सुख-समृद्धि प्रगतिमान है। महाप्रभु जी से प्रार्थना करता हूं कि आप सभी के परिवार में सुख समृद्धि खुशहाली आये और वर्तमान संकट कोरोना संक्रमण से समूचे मानव जगत का कल्याण करें।

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