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Orientation and Demonstration Program : रायपुर में हुआ ओरिएंटशन व डेमोंस्ट्रेशन कार्यक्रम का आयोजन, ये मेहमान हुए शामिल

Orientation and Demonstration Program,

रायपुर, नवप्रदेश : उन्नत भारत अभियान के अंतर्गत आज यानि कि 21.5.2022 शनिवार को एक दिवसीय ओरिएंटशन व डेमोंस्ट्रेशन कार्यक्रम (Orientation and Demonstration Program) का आयोजन राष्ट्रीय प्रोद्योगिकी संस्थान रायपुर के विक्रम साराभाई हाल मैं किया गया |

इस कार्यक्रम के मुख्य संरक्षक डॉ ए एम् रवाणी,निदेशक, राष्ट्रीय प्रोद्योगिकी संस्थान, रायपुर रहे और अध्यक्षता डॉ सुधाकर पाण्डेय, एसोसिएट प्रोफेसर, सूचना प्रोद्योगिकी विभाग,क्षेत्रीय समन्वयक, उन्नत भारत अभियान द्वारा की गई | इस कार्यक्रम मैं उन्नत भारत अभियान के अंतर्गत आने वाली प्रतिभागी संस्थाओं (Orientation and Demonstration Program) के प्रतिनिधी शामिल हुए |

इस कार्यक्रम के द्वारा प्रतिभागी संस्थाओं मैं कोशल उन्नयन और उद्यमिता की भावना को बढ़ाने के लिए एक नई दिशा प्रदान करने का प्रयास किया गया |

कार्यक्रम की शुरुआत मैं डॉ सुधाकर पांडे द्वारा सभी प्रतिनिधियों का स्वागत किया गया और डॉ समीर बाजपेयी द्वारा उद्यमिता से संबंधित महत्वपूर्ण विचार प्रस्तुत (Orientation and Demonstration Program) किए गए |

कार्यक्रम के प्रथम सत्र मैं डॉ जगदीश, असिस्टेंट प्रोफेसर,मेकेनिकल इंजीनियरिंग विभाग, आर सी आई कमिटी सदस्य, उन्नत भारत अभियान ने बताया कि किस तरह बाँस की लकड़ी को महीन टुकड़ों मैं परिवर्तित कर उन्नत किस्म की ईटें, और लकड़ी के गत्ते बनाएं जा सकते है|

इस हेतु बाँस के महीन टुकड़ों, फ्लाईएश और सीमेंट को एक निश्चित प्रक्रिया द्वारा क्रिया कराकर उच्च गुणवता की ईटो मैं परिवर्तित किया जाता है, ये ईंटें आम ईटों की तरह मजबूत और कम लागत मैं बनाई जा सकती हैं |

डॉ जगदीश एव्ं उनकी टीम के सदस्यों ने ईंटों के निर्माण की प्रक्रिया को बहुत ही प्रभावी ढंग से प्रतिभागी संस्थानों के प्रतिनिधियों के सामने प्रदर्शित किया | इसके अलावा डॉ जगदीश द्वारा बाँस की लकड़ी के प्रयोग से सस्ती टूथपिक् बनाने की प्रक्रिया भी बताई गई |

इसके बाद वित्तीय विशेषज्ञ के रूप मैं आस्था वशिष्ठ कार्यक्रम मैं मौजूद रही | उन्होंने ग्रामीण उद्यमिता के दौरान होने वाली धन संबंधी समस्याओं पर प्रकाश डाला और उनके समाधान हेतु सुझाव दिए|

इस दौरान उन्होंने सरकार द्वारा उद्यमिता को प्रोत्साहन देने वाली योजनाओं के बारे मैं जानकारी दी |

इसी प्रकार दुसरे सत्र मैं डॉ अनुपम कुमार तिवारी, एसोसिएट प्रोफेसर, विभागाध्यक्ष, ग्रामीण प्रौद्योगिकी विभाग, सी वी रमन विश्वविद्यालय बिलासपुर छ ग ने सस्ते और हाथ से बने हुए साबुन, हैंडवाश और फीनाइल् बनाने की विधि बताई |

डॉ तिवारी ने सारे प्रतिनिधियों के सामने ही इन चीजों को बना के दिखाया और इनको बनाने मैं उपयोग की जाने वाली सामग्रियों एव्ं उनकी मात्रा का भी विस्तृत वर्णन किया |

कार्यक्रम के अंतिम सत्र मैं श्री हरेंद्र बिक्रोल, एसोसिएट प्रोफेसर, एम सी ए विभाग, एन आई टी रायपुर , प्रतिभागी संस्थान समनव्यक्, उन्नत भारत अभियान ने उद्यमिता और कौशल उन्नयन के महत्व पर अपने विचार रखे और सभी प्रतिभागी संस्थानों के प्रतिनिधियों को प्रमाण पत्र वितरित किए |

इसके बाद डॉ वंदना अग्रवाल, वास्तुकला विभाग ने कार्यक्रम के सफल आयोजन के लिए सभी को बधाई दी | कार्यक्रम के  आयोजक सदस्यों मैं डॉ मणिकांत वर्मा, सिविल इंजीनियरिंग विभाग , डॉ जगदीश , मेकनिकल  इंजीनियरिंग विभाग , डॉ (श्रीमती) वंदना अग्रवाल, वास्तुकला विभाग और सचिन कोटवानी, यु बी ए स्टाफ शामिल रहे|

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