पश्चिम बंगाल में लगभग 32,000 प्राइमरी स्कूल टीचर्स के लिए बड़ी राहत वाली खबर आई है। कलकत्ता हाई कोर्ट की डिवीजन बेंच ने 3 दिसंबर 2025 को वह फैसला (Kolkata High Court 32000 Teachers Judgement) सुनाया, जिसमें सिंगल बेंच द्वारा रद्द की गई सभी टीचर्स की नियुक्तियों के निरस्तीकरण आदेश को खारिज कर दिया गया।
इससे पहले 2023 में जस्टिस अभिजीत गंगोपाध्याय की सिंगल बेंच ने TET-रिक्रूटमेंट प्रक्रिया में अनियमितताओं का हवाला देते हुए नियुक्ति रद्द करने का आदेश दिया था, लेकिन अब डिवीजन बेंच ने उस निर्णय को पलट दिया है। यह फैसला सीधे तौर पर उन हजारों शिक्षकों के लिए राहत लेकर आया है जो वर्षों से इस मामले में अनिश्चितता का सामना कर रहे थे।
फैसले के बाद राज्य शिक्षा मंत्री ब्रत्या बसु ने सोशल मीडिया पर प्रतिक्रिया (Kolkata High Court 32000 Teachers Judgement) देते हुए कहा कि कोर्ट ने सिंगल बेंच का आदेश रद्द कर दिया है और अब 32,000 शिक्षकों की नौकरियां पूरी तरह सुरक्षित मानी जाएंगी।
उन्होंने इसे सच्चाई की जीत बताते हुए प्राथमिक शिक्षा बोर्ड को बधाई भी दी। यह मामला 2014 के कैश फॉर जॉब्स रिक्रूटमेंट स्कैम से जुड़ा था, जिसे लेकर लगातार कानूनी प्रक्रियाएं जारी थीं।
\2014 में WBTET आयोजित हुआ था जिसमें लगभग 1.25 लाख उम्मीदवार सफल घोषित हुए थे। 2016 में रिक्रूटमेंट प्रक्रिया शुरू होने के बाद कुल 42,949 भर्ती की गईं, जिनमें से 32,000 चयन अब इस फैसले के बाद वैध हो गए हैं।
यह निर्णय न केवल शिक्षकों की नौकरी सुरक्षित करता है, बल्कि लंबे समय से चल रहे विवाद को न्यायिक रूप से स्पष्ट भी करता है। अब नियुक्त शिक्षकों (Kolkata High Court 32000 Teachers Judgement) को सेवा जारी रखने में कोई बाधा नहीं होगी और राज्य में प्राथमिक शिक्षा तंत्र में स्थिरता लौटने की उम्मीद है।

