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सोशल मीडिया पर कवर्धा में सैकड़ों पेड़ों की अवैध कटाई की खबरें, विभाग सतर्क, हो…

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कवर्धा/नवप्रदेश। कवर्धा (kawardha illegal tree cutting) जिले का समनापुर अंजना का बीट क्रमांक 345 बीते कुछ वर्षों से अवैध कटाई व वृक्षों में की गई गल्डिंग को लेकर सुर्खियों में है। हाल ही में यहां 10 से 12 वृक्षों की अवैध कटाई पट्टे के नाम पर होने की बात सामने आई थी। लेकिन कवर्ध (kawardha illegal tree cutting) का अब यह मामला सैकड़ों पेड़ों की अवैध कटाई का बताया जा रहा है।

सोशाल मीडिया (social media) के माध्यम से रेंगाखार, समनापुर, अंजना के बीट क्रमांक 345 में सैकड़ों वृक्षों की अवैध कटाई को लेकर खबरें आ रही हैं। हालांकि विभागीय सूत्रों का कहना है कि महज 10 से 12 वृक्षों की अवैध कटाई हुई है और दर्जन भर वृक्षों में गल्डिंग पाई गई है।

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निरक्षण के दौरान विभाग को इसकी जानकारी मिली और इस पर कार्रवाई भी तत्काल प्रारंभ की जा चुकी है। वहीं दूसरी ओर वृक्षों की कटाई को लेकर अब सोशल मीडिया (social media) पर खबरें आ रही हैं कि 300 से भी ज्यादा वृक्षों की कटाई हुई है।

सुरक्षा को लेकर बढ़ी मुस्तैदी

विभागीय सूत्रों के अनुसार आकस्मिक निरक्षण के दौरान विभाग को जब इस स्थिति का पता लगा तो उन्होंने वनों की सुरक्षा को लेकर मुस्तैदी बढ़ा दी है। माना जा रहा है कि ज्यादातर पट्टों के लालच में वनों की कटाई की गई है। तो इसके साथ ही यह भी चर्चा है कि जिन्हें पट्टे मिलने वाले हैं वे अब अपना दायरा बढ़ाने के लिए वृक्षों की कटाई करने में लगे हुए हैं। हालांकि विभाग अब ऐसे लोगों को चिन्हांकित भी कर रहा है ताकि उन पर कार्रवाई की जा सके।

निगरानी के लिए चार दलों का गठन

इसी क्रम में जनवरी में वनमण्डलाधिकारी के निर्देशानुसार आकस्मिक बिट निरीक्षण में रेंगाखार परिक्षेत्र अंतर्गत अंजना और समनापुर बीट के निरीक्षण के निर्देश दिए गए। इसके लिए वहां के उपमण्डल अधिकारी सहसपुर लोहारा के द्वारा चार दलों का गठन किया गया। इस दल में वनमण्डलीय उड़नदस्ता की टीम परिक्षेत्र सहसपुर लोहारा की टीम, परिक्षेत्र खारा की टीम और परिक्षेत्र रेंगाखार की टीम को शामिल किया गया। इन दोनों परिसर अंजना और समनापुर में सघन क्षेत्रीय भ्रमण करने पर जांच के दौरान वहां के लोगों को जो वन अधिकार पत्र मिला है। उनके वन अधिकार पत्र क्षेत्र अंतर्गत चार-पांच वर्ष पुराने गल्डिंग किए हुए पेड़ खड़े पाए गए हैं और कुछ पेड़ कटे हुए भी मिले।

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