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संपादकीय: आईएनडीआईए को मिली संजीवनी

INDIA gets a lifeline

INDIA gets a lifeline

INDIA gets a lifeline: चार राज्यों के पांच विधानसभा क्षेत्रों के लिए हुए उपचुनाव में भाजपा को एक सीट मिली हैं वहीं कांग्र्रेस और तृणमूल कांग्रेस को भी एक-एक सीट पर विजय हासिल हुई है। आम आदमी पार्टी ने दो सीटों पर जीत का परचम लहराया है। वैसे तो इन सभी सीटों पर उन्हीं पार्टियों ने जीत प्राप्त की है जो पहले से ही उनके पास थी इस लिहाज से तो इन उपचुनावों में न कोई हारा है न कोई जीता है लेकिन इन संख्या बल को लेकर आईएनडीआईए जरूर खुश हो रहा है कि उसके हिस्से में पांच में से चार सीटें आई हैं और उन्होंने भाजपा को एक ही सीट पर रोक दिया है।

सबसे ज्यादा खुश तो आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल हैं क्योंकि आम आदमी पार्टी को दो सीटों पर जीत प्राप्त हुई है। हालांकि पंजाब और गुजरात की ये एक-एक सीट पहले भी आम आदमी पार्टी के पास ही थी। किन्तु अरविंद केजरीवाल ने अपनी इस जीत को बहुत बड़ी उपलब्धि बताया है। उन्होंने तो यहां तक कह दिया है कि सभी पार्टियों को सिर्फ एक-एक सीट मिली है जबकि आम आदमी पार्टी ने दो सीटों पर फतह हासिल की है।

उनका कहना है कि पंजाब में आम आदमी पार्टी को जो जीत मिली है वह पंजाब सरकार की उपलब्धियो की जीत है। क्योंकि पंजाब की जनता आम आदमी पार्टी की सरकार के कामकाज से संतुष्ट है उन्होंने पंजाब में कांग्रेस और भाजपा पर मिलीभगत करने का आरोप भी जड़ दिया है। उनका कहना है कि इन दोनों ही पार्टियों ने अंदरूनी तौर पर आपस में हाथ मिला लिये थे ताकि आम आदमी पार्टी के प्रत्याशी को हराया जा सके।

इसके बावजूद आम आदमी पार्टी ने जीत हासिल कर ली। केजरीवाल का कहना है कि यह सप्ताह का सेमीफाइनल था जो हमने जीत लिया है अब पंजाब विधानसभा के आम चुनाव में फाइनल होगा और इस बार आम आदमी पार्टी फिर से ऐतिहासिक जीत दर्ज कर अपनी सरकार बनाएगी। वहीं गुजरात में अपनी ही एक जीत पर जीत को लेकर उन्होंने कहा है कि यह गुजरात सरकार के खिलाफ वहां की जनता के आक्रोश का परिणाम है। जहां आम आदमी पार्टी की लोकप्रियता का ग्राफ बढऩे लगा है।

हालांकि केजरीवाल का यह बयान उनके अति उत्साह को दिखाता है लेकिन यह तो तय है कि नई दिल्ली विधानसभा चुनाव में बुरी तरह से मात खाने वाली आम आदमी पार्टी को इन चुनावों में दो सीटों पर जीत मिलने से उसे नई संजीवनी मिली है। और अब वह दुगनी ताकत से पंजाब विधानसभा चुनाव के लिए जुट जाएगी। कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस को भी एक एक सीट पर कामियाबी हासिल होना आईएनडीआईए के लिए भी संजीवनी का काम करेगा। क्योंकि शीघ्र ही बंगाल और उसके बाद केरल में भी विधानसभा के आम चुनाव होन हैं।

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