पाली/कोरबा, 7 जुलाई। Heavy Rain Rescue Operation : बारिश सिर्फ मौसम नहीं थी, बल्कि परीक्षा थी इंसानियत की, जज्बे की और उस भरोसे की, जो मुश्किल घड़ी में सिस्टम पर किया जाता है। कोरबा जिले के पाली ब्लॉक के ढुकुपथरा और पोंडी गांव के लब्दापारा टोले में 17 ग्रामीण रविवार शाम खेत में काम कर रहे थे, जब अचानक प्रकृति ने रौद्र रूप दिखाया। झमाझम बारिश के बीच बाढ़ जैसे हालात बन गए और मासूमों से लेकर बुजुर्ग तक खेत में ही फंस गए।
पल-पल भारी था, लेकिन हौसला कम नहीं हुआ।
सूचना मिलते ही एक ऐसी जंग शुरू हुई, जिसमें न कोई हथियार था और न कोई दुश्मन—सिर्फ एक लक्ष्य था: 17 जिंदगियों को सुरक्षित घर वापस (Heavy Rain Rescue Operation)लाना।
रातभर चला रेस्क्यू, नींद नहीं—सिर्फ ज़िम्मेदारी थी।
करीब 10 घंटे तक प्रशासन, आपदा प्रबंधन, नगर सेना और राज्य रेस्क्यू टीम एकजुट होकर इस अभियान में जुटी रही। ये सिर्फ एक ‘ऑपरेशन’ नहीं था—ये था इंसानी जज़्बे की असल तस्वीर, जहां रात के अंधेरे में टॉर्च की रोशनी और दिल की उम्मीदों के सहारे जिंदगी को बचाने की लड़ाई लड़ी (Heavy Rain Rescue Operation)गई।
जब सुबह तीन बजे 17 लोगों को सकुशल बाहर निकाला गया, तो उन चेहरों पर सिर्फ राहत नहीं थी—वहां था एक अनुभव कि “प्रकृति चाहे जितनी भी शक्तिशाली हो, इंसान की जिजीविषा उससे भी बड़ी है।”