गरियाबंद/नवप्रदेश। छत्तीसगढ़ के गरियाबंद जिला शिक्षा अधिकारी एवं आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालय के संचालन प्रबंधन समिति सचिव द्वारा जारी संविदा पदों के भर्ती विज्ञापन में संस्कूत और हिंदी जैसे विषयों के लिये भी हाई स्कूल स्तर तक सम्पूर्ण शिक्षा अंग्रेजी माध्यम से शिक्षित होने की अहर्ता को अब शिथिल कर दिया गया (Effect Of News) है।
बता दें कि इस मामले को लेकर नवप्रदेश में हिंदी माध्यम से पढ़ाई करने वाले युवा हो जाये सावधान, रहना पड़ सकता है बेरोजगार, की हैडलाइन से प्रमुखता से प्रकाशित किया था। जिसे संसदीय सचिव द्वारिकाधीश यादव द्वारा संज्ञान में लिया गया और इस विषय पर उन्होंने कलेक्टर को पत्र लिखा था।
इसके बाद डीर्ईओ बैकफुट पर आ गए और भर्ती नियमों को शिथिल कर कर दिया। डीईओ कार्यालय द्वारा जारी शुद्धि पत्र के अनुसार इस कार्यालय द्वारा जारी संविदा भर्ती विज्ञापन क्रमांक 2123 के भर्ती विज्ञापन में सेजस फि ंगेश्वर / देवभोग हेतु पद व्याख्याता विषय हिंदी / संस्कृत के लिये निर्धारित शैक्षणिक योग्यता हाई स्कूल स्तर में सम्पूर्ण शिक्षा अंग्रेजी माध्यम को शिथिल करते हुए,
हिंदी माध्यम से द्वितीय श्रेणी में स्नातकोत्तर उत्तीर्ण/ उपाधि आवेदक पात्र होंगे। सेजस देवभोग के लिये भी व्याख्याता गणित ( हिंदी माध्यम ) की निर्धारित शैक्षणिक योग्यता में शिथिलीकरण किया गया (Effect Of News) है।
इसी तरह सेजस फि ंगेश्वर मैनपुर देवभोग छुरा शिक्षक पद हिंदी संस्कृत के लिये निर्धारित शैक्षणिक योग्यता में अंग्रेजी माध्यम की अनिवार्यता शिथिल करते हुए, हिंदी माध्यम से स्नातक उत्तीर्ण आवेदक पात्र होंगे।
संसदीय सचिव ने दिखाई सजगता : डीईओ की संविदा भर्ती नियमों की मनमानी और युवाओं के साथ हो रहे इस अन्याय को लेकर नवप्रदेश ने प्रमुखता से खबर प्रकाशित की।
जिसे संसदीय सचिव द्वारिकाधीश यादव ने सजगता दिखाते हुए संज्ञान में लिया और उन्होंने कलेक्टर को पत्र लिखकर अवगत कराया कि जिला अंतर्गत समस्त विकासखंडों में संचालित स्वा.आ.अ. मा.वि. में संविदा भर्ती विज्ञापन क्रमांक 2123 द्वारा विभिन्न पदों में भर्ती हेतु विज्ञापन जारी किया गया (Effect Of News) है।
अभ्यर्थियों के अनुरोध के अनुसार उक्त भर्ती विज्ञापन में हिंदी एवं संस्कृत विषयों के लिये आवेदक को हाई स्कूल शिक्षा अंग्रेजी माध्यम से उत्तीर्ण होना अनिवार्य किया गया है, जबकि अन्य जिलों में उक्त योग्यता अनिवार्य नही है।
संविदा अभ्यर्थियों द्वारा हिंदी एवं संस्कृत विषयों के लिये उक्त अनिवार्य योग्यता को शिथिल करने एवं शिथिलकरण की कार्यवाही नियमानुसार की जाये। जिस पर कलेक्टर ने तत्काल संज्ञान में लेकर डीईओ को फटकार लगाते हुए नियमों में बदलाव करने के निर्देश दिए। जिसके बाद डीईओ ने इन नियमों को शिथिल कर दिया।