पेरिस/ए.। डॉक्टरों (doctors) ने अपने अध्ययन के आधार पर दावा (claim) किया है कोरोना (corona) वायरस का पहला मरीज (first patient) चीन में नहीं (not in china) बल्कि फ्रांस (france) में मिला था।
जबिक इससे पहले दुनियाभर से आ रही रिपोर्ट के मुताबिक यह कहा जा रहा है कि कोरोना वायरस चीन से फैला और इसका पहला मरीज भी चीन से ही मिला।
लेकिन डेली मेल ने डॉक्टरों (doctors) के इस दावे को लेकर खबर प्रकाशित की है। रिपोर्ट के मुताबिक यह दावा उत्तर पूर्व फ्रांस (france) के कॉलमार के अल्बर्ट श्वित्जर हॉस्पिटल के डॉ. माइकल श्मिट की टीम ने किया है। टीम ने कहा है कि चीन में कोरोना का पहला मरीज (first patient) सामने नहीं (not in china) आया होगा। क्योंकि कोरोना (corona) वायरस के संक्रमण ने नवंबर में ही यूरोप में दस्तक दी थी।
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ऐसे निस्कर्ष तक पहुंचे फ्रांस के डॉक्टर
डॉक्टरों ने नवंबर दिसंबर में फ्लू की समस्या लेकर आए करीब 2500 से अधिक मरीजों के एक्स-रे रिपोर्ट का अध्ययन किया। नवंबर माह की दो एक्स रे रिपोर्ट ऐसी है, जिसमें कोरोना वायरस की पुष्टि हुई है। 16 नवंबर को एक व्यक्ति का एक्स रे निकाला गया। इसकी रिपोर्ट देखने पर टीम के डॉक्टरों ने बताया कि उसे कोरोना का संक्रमण था। इस व्यक्ति का दूसरे दिन भी एक्स रे कराया गया। उसमें संक्रमण के लक्षण दिखाई दिए। लेकिन उस समय डॉक्टरों को इसकी जानकारी नहीं थी।
फ्रांस में घोषित तौर पहला मरीज पाए जाने की तारीख 24 जनवरी
घोषित तौर पर फ्रांस में 24 जनवरी, 2020 को कोरोना वायरस का पहला केस मिला लेकिन उक्त हॉस्पिटल के टीम के दावे (claim) के मुताबिक फ्रांस में 16 नवंबर, 2019 को पहला केस मिला। जबकि चीन की वुहान में सरकार ने 31 दिसंबर को बताया कि वहां नए वायरस से संक्रमित लोगों को इलाज किया जा रहा है। लेकिन बाद में चीन के पहले मरीज के बारे में बताया गया कि यह 17 नवंबर, 200 को डिटेक्ट हुआ था।