बिहार/नवप्रदेश। Dangerous Intention : जी हां, आपने ठीक ही सुना हैै। बिहार की राजधानी पटना में देश विरोधी गतिविधियों में शामिल दो आतंकी ऐसे ही मंसूबे के साथ भटके और गरीब को ट्रेनिंग देकर तैयार कर रहे थे। हैरानी की बात यह है कि गिरफ्तार आतंकियों में एक झारखंड पुलिस के सेवानिवृत्त पुलिस अधिकारी मोहम्मद जलालुद्दीन और दूसरा पीएफआई के मौजूदा सदस्य अतहर परवेज हैं।
मार्शल आर्ट की आड़ में दे रहे थे आतंकी ट्रेनिंग
पटना पुलिस के मुताबिक ये दोनों मार्शल आर्ट की आड़ (Dangerous Intention) में आतंकी ट्रेनिंग दे रहे थे। इनके पास से PFI-SDPI का गुप्त दस्तावेज ‘मिशन 2047’ मिला है जिसमें 2047 तक भारत को इस्लामिक राष्ट्र बनाने की बात कही गई है। पुलिस ने बताया कि इन दोनों से ट्रेनिंग लेने के लिए पिछले दो महीने से दूसरे राज्यों के लोग आ रहे थे। आने वाले लोग टिकट बुक करते समय और होटलों में ठहरते समय अपना नाम बदल रहे थे।
एसएसपी के मुताबिक आरोपियों ने 6-7 जुलाई को स्थानीय लोगों को मार्शल आर्ट के नाम पर तलवार और चाकुओं का इस्तेमाल करना सिखाया। उन्होंने कम उम्र के युवाओं को धार्मिक हिंसा के लिए उकसाया। एसएसपी ने कहा कि हमारे पास सीसीटीवी फुटेज के साथ-साथ गवाहों के खाते भी हैं। परवेज ने आतंकी गतिविधि को अंजाम देने के लिए लाखों रुपये चंदा जुटाया।
आतंकियों के दस्तावेज में बहुसंख्यक समुदाय को बताया कायर
एसएसपी ने बताया कि ‘इंडिया विजन 2047’ शीर्षक से साझा किए गए 8-पृष्ठ लंबे दस्तावेज का एक अंश कहता है, ‘पीएफआई को विश्वास है कि भले ही कुल मुस्लिम आबादी का 10 फीसदी इसके पीछे हो, लेकिन PFI कायर बहुसंख्यक समुदाय को वश में करेगा और गौरव वापस लाएगा।
अतहर परवेज पटना गांधी मैदान (Dangerous Intention) में हुए बम धमाके का आरोपी मंजर का सगा भाई है। पटना पुलिस के अनुसार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सभा में गांधी मैदान में हुए ब्लास्ट के कई आरोपियों को छुड़ाने के लिए अतहर परवेज ने जमानत की कोशिश की थी। बताया जा रहा है कि दोनों गिरफ्तार आरोपी देश के विभिन्न हिस्सों में घूम-घूमकर अशिक्षित एवं गुमराह युवकों को आतंकी प्रशिक्षण देने का काम किया करते थे।