नयी दिल्ली । देश (Country) के 200 किसान संगठन कृषि (200 Farmers Organization Agriculture) लागत दर, खाद, कीटनाशक, बीज एवं डीजल के दामों के बढ़ोतरी के खिलाफ (Against price rise) कोरोना वायरस (corona virus) के फैलाव को रोकने के लिए जारी लॉकडाउन (lockdown)के बीच बुधवार को राष्ट्रव्यापी विरोध प्रदर्शन (Nationwide protests) करेंगे।
न्यूनतम समर्थन मूल्य के बजाए औने पौने दाम में बेचने मजबूर
भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं अखिल भारतीय किसान सभा के महासचिव अतुल कुमार अनजान ने यह जानकारी एक विज्ञपति में दी। उन्होंने कहा है कि कोरोना वायरस के इस दौर में रबी की फसलों का न्यूनतम समर्थन मूल्य तो दूर बाजार में उन्हें औने पौने दामों पर बेचना पड़ा।
लागत से कम दर में बेच रहे किसान सब्जियां और फल
कोरोना महामारी के चलते फलो, सब्जियों, दलहन, तिलहन को बाजार के अंदर लागत दर से नीचे बेचने पर मजबूर होना पड़ा। इस बात को ध्यान में रखकर देश के 200 किसान संगठन अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति के तहत राष्ट्रव्यापी प्रदर्शन खेत, खलिहान , गांव तथा सड़कों पर करेंगे।
राहत के नाम पर किसानों पर कर्ज लादा जा रहा
श्री अनजान ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा चार किस्तों में जारी 20 लाख करोड़ रुपए के राहत पैकेज में किसानों और ग्रामीण किसानों, खेत मजदूरों, ग्रामीण भारत के लिए कुछ नहीं बल्कि राहत के नाम पर किसानों पर कर्ज लादा जा रहा है। जरूरत इस बात की है कि किसानों के ऊपर सहकारी, सरकारी और निजी साहूकारों के कर्जा माफ किया जाए ।
किसान सम्मान निधि बढ़ाकर 18000 रुपए प्रति वर्ष की जाए
खरीद के लिए अत्यंत कम दामों पर बीज, खाद, कीटनाशक की सप्लाई की जाए। जीरो परसेंट पर किसानों को बैंक से कर्ज लेने की राहत दी जाए एवं डीजल के दाम दस रुपए प्रति लीटर से अधिक ना हो। प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि में निधि को बढ़ाकर 18000 रुपये प्रति वर्ष किया जाए।