दुर्ग, नवप्रदेश। चन्दूलाल चन्द्राकर स्मृत्ति शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय में विगत दिनों नवजात शिशुओं की प्राण रक्षा के लिए उनके पैदा होते ही प्रथम स्वर्णिम मिनट (First Golden Minute) विषय पर चिकित्सा शिक्षकों, छात्रों व नर्सिंग स्टॉफ का विशेष प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किया गया
जिससे बच्चे के जन्म लेते ही उसे सघन चिकित्सा देकर बचाया जा सके क्योंकि ज़्यादातर बच्चे इस प्रथम मिनिट में समुचित चिकित्सा न मिल पाने के कारण या तो नहीं बचते या उन्हें स्वास की परेशानी आ सकती है और कमज़ोर भी हो सकते हैं|
चिकित्सा महाविद्यालय के स्किल लैब में अस्पताल अधीक्षक डॉ. अतुल मनोहर राव देशकर की अध्यक्षता एवं डॉ. जयंती चंद्राकर के विशिष्ट अतिथ्य मे हुए इस महत्व पूर्ण कार्यक्रम में राष्ट्रीय स्वास्थ्य योजनाओं के अंतर्गत इस कार्यक्रम मे अंतराष्ट्रीय स्तर पर प्रशिक्षण प्राप्त शिशु रोग विभाग के आचार्य – डॉ. ओमेश खुराना ने इस कार्यक्रम का संयोजन किया
जिसमें ट्रेनरस ने उपस्थिति चिकत्सको व नर्सेस को प्रशिक्षण दिया| इस के लिए एक प्रोटोकॉल का विमोचन किया गया और सबने इस सम्बन्ध में शिशुओं की प्राण रक्षा हेतु प्रयत्नशील रहने हेतु कटिबद्ध रहने का संकल्प भी लिया|
इस अवसर प्र ट्रैनड इंस्ट्रक्टर्स – डॉ.पवन कुमार -बेमेतरा (वरिष्ठ शिशु रोग विशेषज्ञ)
डॉ. सीमा जैन – वरिष्ठ शिशुरोग विशेषज्ञ जिला चिकित्सालय दुर्ग
डॉ. अभिलेखा बिसवाल प्राचार्या पी जी कॉलेज ऑफ़ नर्सिंग भिलाई ने व्याख्यान व प्रशिक्षण दिया| चंदूलाल चंद्राकर शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय लगातार स्वाथ्य के प्रति जागरूकता हेतु ऐसे बहोत से कैंप,कार्यक्रम, व प्रशिक्षण आयोजित कर रहा है जिससे अंचल के रोगियों की बेहतर सेवा की जा सके|