रायपुर/नवप्रदेश। Bus Travel : छत्तीसगढ़ में बस यात्रा भी महंगी हो गई है। बस संचालकों की मांग पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने यात्री किराए में 25 प्रतिशत की वृद्धि पर अपनी सहमति दे दी है। बस संचालक पिछले कई दिनों से किराया बढ़ाने की मांग कर रहे थे। छत्तीसगढ़ यातायात महासंघ तथा बस ऑनर्स फेडरेशन ऑफ छत्तीसगढ़ के प्रतिनिधि मंडल ने रविवार रात मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से मुलाकात की। इसका नेतृत्व रायपुर नगर निगम के सभापति और छत्तीसगढ़ यातायात महासंघ के संरक्षक प्रमोद दुबे ने किया।
संघ कर रहे थे 40 प्रतिशत किराया बढ़ाने की मांग
प्रतिनिधिमंडल ने यात्री किराए में 40 प्रतिशत तक वृद्धि का प्रस्ताव रखा। उनका कहना था, डीजल की कीमतों में वृद्धि और अन्य उपकरणों की कीमत में वृद्धि के कारण उन्हें भारी कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है। कुछ देर तक चर्चा के बाद मुख्यमंत्री किराया बढ़ाने के प्रस्ताव पर सहमत हो गए, हालांकि उन्होंने 40 की जगह 25 प्रतिशत वृद्धि पर ही सहमति जताई है। इसके बाद बस संचालक भी संतुष्ट नजर आए। चर्चा के दौरान परिवहन मंत्री मोहम्मद अकबर, परिवहन आयुक्त टोपेश्वर वर्मा, अपर परिवहन आयुक्त दीपांशु काबरा और संयुक्त परिवहन आयुक्त देवव्रत सिरमौर भी मौजूद थे।
जुलाई 2018 में बढ़ा था किराया
बस संचालकों ने बताया, इससे पहले 16 जुलाई 2018 को यात्री बसों का किराया (Bus Travel) बढ़ाया गया था। उस समय भी सिटी बसों को छोड़ दिया गया था। उस समय डीजल का मूल्य 69.20 रुपया प्रति लीटर था। आज इसकी कीमत 96 रुपए प्रति लीटर तक हो चुकी है। किराया बढ़ाने की मांग को लेकर बस संचालक मई महीने से ही आंदोलन कर रहे थे। जुलाई में उन्होंने रायपुर में बड़ा प्रदर्शन किया था।
पहले से बढ़ा हुआ किराया वसूल रहे थे
लॉकडाउन खुलने के बाद ही बस और ऑटो संचालकों ने यात्री किराया (Bus Travel) बढ़ा दिया था। यात्रियों से 40 प्रतिशत अतिरिक्त किराया वसूला जा रहा था। रायपुर से झलप तक की यात्रा में जहां पहले 80 रुपए लगते थे, वहीं अब 150 रुपए लिए जा रहे थे। वहीं माना कैंप से रायपुर घड़ी चौक पहले 10 रुपए लेते थे, वहीं लॉकडाउन खत्म होने के बाद ऑटो वालों ने 30 रुपए कर दिया।