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Bilaspur Fast Track Court : नाबालिग से दुष्कर्म, आरोपी को 10 साल की कैद

Bilaspur Fast Track Court: Minor raped, accused imprisoned for 10 years

Bilaspur Fast Track Court

बिलासपुर/नवप्रदेश। Bilaspur Fast Track Court : डेढ़ साल पहले नाबालिग से दुष्कर्म के मामले में आज न्याय विचार मिला। अपराधी को 10 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई गई है, साथ ही 300 रुपये अर्थदंड की सजा दी है।

15 साल की लड़की का अपहरण (Bilaspur Fast Track Court) कर उसके साथ दुष्कर्म करने वाले आरोपी युवक को बिलासपुर फास्ट टैक कोर्ट ने सजा सुनाई है। पीड़िता को प्रतिकर योजना के तहत क्षतिपूर्ति देने के निर्देश दिए हैं। कोर्ट ने आरोपी को जेल भेज दिया है। घटना डेढ़ साल पहले मस्तूरी थाना क्षेत्र की है।

नाबालिग के साथ अनाचार

नाबालिग का अपहरण कर उसके साथ अनाचार करने वाले आरोपी को कोर्ट ने 10 साल की सजा सुनाई है। जानकारी के अनुसार मस्तूरी थाना क्षेत्र की रहने वाली नाबालिक के परिजनों ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी। परिजनों ने रिपोर्ट में 8 जनवरी 2021 को उसकी 15 वर्षीय बेटी स्कूल जाने के लिए घर से निकली थी। शाम तक वह घर नहीं लौटी। परिवार वालों ने आसपास खोजबीन की और रिश्तेदारों से संपर्क किया, लेकिन नाबालिग लड़की के बारे में कुछ पता नहीं चला। इस बीच परिजनों ने लड़की के स्कूल की सहेलियों से भी पूछताछ की।

पेट दर्द होने बोलकर निकली थी स्कूल से

एक सहेली ने बताया कि स्कूल में नाबालिग लड़की ने पेट दर्द होने की शिकायत की थी, फिर स्कूल से छुट्टी लेकर घर जाने की बात बोल कर निकल गई थी। 13 जनवरी को परिजनों ने मस्तूरी थाना में लड़की के गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी।पुलिस ने गुमशुदगी के तहत अपराध दर्ज कर मामले की विवेचना में जुटी थी। इस बीच 29 जून 2021 को पुलिस को मुखबिर से सूचना मिली कि नाबालिग घर पर रह रही है। इसके बाद पुलिस की टीम आरोपी के घर पर दबिश देकर नाबालिग को सुरक्षित बरामद कर लिया था और विशाल कुमार साहू को गिरफ्तार किया।

आरोपी को 10 साल की सजा

पूछताछ में नाबालिग (Bilaspur Fast Track Court) ने शारीरिक संबंध बनाने की बात कही थी। पुलिस ने आरोपी युवक के खिलाफ दुष्कर्म, अपहरण, पास्को एक्ट के तहत अपराध दर्ज कर उसे कोर्ट में पेश किया, जहां से उसे जेल भेज दिया गया। शुक्रवार को प्रथम एफटीएससी कोर्ट ने सुनवाई के बाद आरोपी विशाल कुमार साहू को 10 साल सश्रम कारावास और 300 रुपए अर्थदंड की सजा सुनाई है।

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