छत्तीसगढ़ बना चिटफंड निवेशकों की सुध लेने वाला पहला राज्य, 16796 निवेशकों को वापस हुई राशि

छत्तीसगढ़ बना चिटफंड निवेशकों की सुध लेने वाला पहला राज्य, 16796 निवेशकों को वापस हुई राशि

Chhattisgarh became the first state to take care of chit fund investors, amount returned to 16796 investors

Chit Fund Investors

CM भूपेश ने अब तक सीधे खातों में डाले 9 करोड़ 78 लाख रुपए

रायपुर/नवप्रदेश। Chit Fund Investors : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज राजनादगांव जिले के चिटफंड निवेशकों को 2 करोड़ 46 लाख रुपए की राशि ऑनलाइन उनके खाते में अंतरित की। सीएम हाउस में आयोजित वर्चुअल कार्यक्रम में चिटफंड कंपनियों के निवेशकों को राशि उनके खाते में वापस लौटने के साथ ही मुख्यमंत्री ने निवेशकों को उनकी राशि वापस मिलने पर बधाई दी। इस अवसर पर मुख्यमंत्री निवास कार्यालय में राजनांदगांव कलेक्टर तारण प्रकाश सिन्हा और पुलिस अधीक्षक डी.श्रवण भी उपस्थित थे।

यह राशि चिटफंड कंपनियों के कुर्क की गई संपत्ति को नीलाम कर वसूल की गई है। इससे पहले राजनांदगांव में 16796 निवेशकों को 7 करोड़ 32 लाख रूपये वापस किये गए थे। मंगलवार को वापस की गई 2 करोड़ 46 लाख रुपए की राशि को मिलाकर राजनांदगांव जिले में अब तक 9 करोड़ 78 लाख रुपए की राशि निवेशकों को वापस लौटाई जा चुकी है।

चिटफंड प्रकरणों का निपटारा करने वाला छत्तीसगढ़ पहला राज्य – भूपेश

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ देश का इकलौता राज्य है, जो अपने राज्य के निवेशकों (Chit Fund Investors) को जिनके साथ चिटफंड कंपनियों ने धोखाधड़ी की है, उनकी राशि वापस लौटा रहा है। इसके लिए चिटफंड कंपनियों के डायरेक्टरों पर कानूनी कार्रवाई के साथ-साथ उनकी प्रॉपर्टी की कुर्की और नीलामी कर उससे प्राप्त होने वाली राशि निवेशकों वापस दी जा रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि चिटफंड कंपनियों के विरुद्ध लगातार कार्रवाई की जा रही है । उनके ऊपर प्रकरण दर्ज किए जा रहे हैं । उनकी प्रॉपर्टी को चिन्हित कर कुर्की और नीलामी की कार्रवाई की प्रक्रिया सतत जारी है।

कार्रवाई अभियान रहेगा जारी

मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी जिलों के कलेक्टरों एवं पुलिस अधीक्षको को चिटफंड कंपनियों (Chit Fund Investors) के विरुद्ध कार्यवाही और वसूली का अभियान तेजी से संचालित करने के भी निर्देश दिए गए हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार का यह प्रयास चिटफंड कंपनियों की धोखाधड़ी के शिकार हुए निवेशकों को न्याय दिलाना है। इसके लिए शासन प्रशासन की ओर से लगातार कार्रवाई की जा रही है। निवेशकों को उनकी राशि वापस लौटाने का यह सिलसिला आगे भी जारी रहेगा।

कंपनियों डायरेक्टरों के खिलाफ कार्रवाई

इस अवसर पर राजनादगांव कलेक्टर तारण प्रकाश सिन्हा ने बताया कि राजनंदगांव जिले में चिटफंड कंपनी के निवेशकों से 3 लाख आवेदन प्राप्त हुए हैं। 462 चिटफंड कंपनियों का विवरण तैयार किया गया हैं। उन्होंने बताया कि चिटफंड कंपनी शुभ साईं इंडिया लिमिटेड की डोंगरगढ़ तहसील के ग्राम घोटिया में 10 एकड़ जमीन कुर्क की गई है। उन्होंने बताया कि जिला एवं सत्र न्यायाधीश द्वारा पारित अंतिम आदेश के तहत मटिया गांव में 3 एकड़ तथा हरडूआ में आधा एकड़ जमीन की नीलामी की कार्रवाई दिसंबर माह के प्रथम सप्ताह में की जाएगी, और इससे प्राप्त होने वाली राशि चिटफंड कंपनी के निवेशकों को वापस लौटाया जाएगा। उन्होंने बताया कि चिटफंड कंपनियों के डायरेक्टरों के विरुद्ध भी लगातार कार्रवाई जारी है।

31 मामले दर्ज किए गए

राजनादगांव पुलिस अधीक्षक डी. श्रवण ने बताया कि चिटफंड कंपनियों के विरुद्ध 31 मामले दर्ज किए गए हैं, जिसमें से 27 मामले अभी न्यायालय में लंबित हैं । एक प्रकरण में चिटफंड कंपनी के दो डायरेक्टरों को सजा भी मिली है। कुल 61 डायरेक्टर गिरफ्तार किए गए हैं। उन्होंने बताया कि चिटफंड कंपनियों की 17 प्रॉपर्टी चिन्हित की गई है, जिनकी कुर्की व नीलामी की कार्रवाई की जाएगी।

निवेशकों को मिली राशि

राशि वापसी के ऑनलाइन कार्यक्रम से जुड़ीं निवेशक (Chit Fund Investors) शारदा बाई ने बताया कि उन्होंने चिटफंड कंपनी में 5 लाख रुपये का निवेश वर्ष 2010 में किया था। उनकी पूरी राशि डूब गई थी। शारदा बाई ने राशि वापस मिलने पर प्रसन्नता जताते हुए इसके लिए मुख्यमंत्री का आभार जताया। खैरागढ़ के पुन्नू राम ने बताया कि उन्होंने चिटफंड कंपनी में 50 हजार रूपए का निवेश किया था। कंपनी ने राशि 3 गुना वापस कर लौटाने की बात कही थी।

महरु राम ने बताया कि उसने 3 लाख चिटफंड कंपनी में वर्ष 2014 में जमा किए थे, उनकी पूरी जमा पूंजी डूब गई थी। उन्होंने बताया कि इससे पहले उन्हें 90 हजार रुपए वापस मिले थे। आज 30 हजार रुपए वापस उनके खाते में आए हैं। हरिराम ने बताया कि उसने भी चिटफंड कंपनी में 2 लाख 16 हजार रुपए का निवेश किया था, परंतु चिटफंड कंपनी के भाग जाने की वजह से उनकी पूरी राशि डूबत में चली गई थी। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की विशेष पहल पर डूबत राशि उन्हें वापस मिल रही है। पहले उन्हें 65 हजार और आज दूसरी बार 21 हजार रूपए की राशि वापस मिली है। उन्होंने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के प्रति इसके लिए आभार जताया।

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